कोरोना को मात देने के लिए वैज्ञानिक कारगर दवा बनाने में जुटे हुए हैं। इस बीच रिसर्च भी जारी है। ताजा एक अध्यन में सामने आया है कि ऊंटों की एंटीबॉडी से कोरोना का उपचार संभव है। डॉक्टरों का कहना है कि रिसर्च सही दिशा में है। यूएई के एक जाने माने माइक्रोबायोलॉजिस्ट डॉक्टर का दावा है कि ऊंटों में कोरोना वायरस को मात देने का माद्दा है।
नई दिल्ली। कोरोना को मात देने के लिए वैज्ञानिक कारगर दवा बनाने में जुटे हुए हैं। इस बीच रिसर्च भी जारी है। ताजा एक अध्यन में सामने आया है कि ऊंटों की एंटीबॉडी से कोरोना का उपचार संभव है। डॉक्टरों का कहना है कि रिसर्च सही दिशा में है। यूएई के एक जाने माने माइक्रोबायोलॉजिस्ट डॉक्टर का दावा है कि ऊंटों में कोरोना वायरस को मात देने का माद्दा है।
ऊंटों के जरिए कोरोना मरीजों को ठीक किया जा सकता है। यूएई की मीडिया रिपोर्ट में डॉक्टर ने कहा कि ऊंट पर कोरोना का कोई असर नहीं होता। हालांकि इंसान और दूसरे जानवरों में रिसेप्टर सेल होता है। रिसेप्टर सेल की वजह से ही इंसानों में कोरोना संक्रमण फैल रहा है।
उन्होंने कहा कि ऊंट की म्यूकोसा सेल में वायरस चिपक नहीं सकता। इसलिए कोरोना के लिए ऊंट एक कारगर इलाज साबित हो सकता है। बता दें कि, कोरोना को मात देने के लिए यूएई में कूबड़दार ऊंटों पर सिसर्च किया जा रहा है।
इसके लिए ऊंटों में कोरोना के मृत सैंपल का इंजेक्शन दिया जा रहा है। बहुत बारीकी से यह देखा जा रहा है कि इससे उनके अंदर क्या बदलाव आ रहा है। साथ ही एंटीबॉडी के लिए उनका ब्लड सैंपल लिया जा रहा है। उसकी जांच की जा रही है ताकि कोरोना महामारी का कोई ठोस इलाज मिल सके।