लखनऊ। चंद दिनों में ही अब क्रिसमस का त्योहार आने वाला है और ऐसे में क्रिसमस की तैयारियां ज़ोरों से शुरू हो चुकी हैं। यूं तो क्रिसमस ईसाई धर्म के मानने वालों का प्रमुख त्योहार है, लेकिन इस पर्व को दूसरे धर्म के लोग भी बेहद उत्साह से मनाते हैं। क्रिसमस के मौके पर चर्च की रौनक देखने को बनती है। आज हम आपको देश के पांच प्रसिद्ध चर्च के बारे में बताने जा रहे हैं, यहां जाकर आप क्रिसमस के दिन को खास बना सकते हैं…..
गोवा का बैसिलिका ऑफ बॉम जीसस चर्च-
यह चर्च दुनिया के सबसे बेहतरीन चर्च में जाना जाता है।
बैसिलिका ऑफ बॉम जीसस चर्च का निर्माण करीब 300 साल पहले हुआ था।
बॉम जीसस का मतलब एक अच्छा जीसस होता है।
ये चर्च सेंट फ्रांसिस जेवियर का घर माना जाता है, क्योंकि इस चर्च में सेंट फ्रांसिस जेवियर की बॉडी अभी तक मौजूद है।
इसे देखने दुनियाभर से लोग यहां आते हैं।
केरल का वल्लारपदम चर्च-
केरल के इस चर्च को ‘द चर्च ऑफ ऑवर लेडी’ के नाम से भी जाना जाता है।
ये एक प्रसिद्ध तीर्थ स्थल भी है।
साल 1524 में इस चर्च को पोर्तुगीज ने बनवाया था, हालांकि बाद में इसे डच द्वारा नष्ट कर दिया गया था।
इसके बाद सन् 1676 में इस चर्च को दोबारा से बनाया गया था।
केरल में स्थित इस चर्च को भारत सरकार ने साल 1951 में राष्ट्रीय तीर्थ स्थल का दर्जा दिया था।
ओल्ड गोवा का कैथेड्रल चर्च-
ये चर्च भारत के सबसे बड़े चर्च में से एक है।
क्रिसमस के अवसर पर यहां हर साल हजारों लोग आते हैं।
इस चर्च का निर्माण साल 1562 में शुरू हुआ और सन् 1619 में पूरा हुआ।
इस चर्च की चौड़ाई 181 फीट है, जबकि, लंबाई 250 मीटर है।
केरल का मलयात्तूर चर्च-
केरल में स्थित ये चर्च एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित है।
दक्षिण भारत में ईसाई धर्म की शुरुआत सेंट थॉमस ने ही की थी।
ये सबसे पुराने चर्च में से एक माना जाता है।
ये भी कहा जाता है कि ये चर्च सेंट थॉमस ने ही बनवाया था।
पहाड़ी पर होने की वजह से ये चर्च यहां आने वाले लोगों को एक अच्छा अनुभव देता है।
गोवा का रिस मगोस चर्च-
गोवा में स्थित रिस मगोस चर्च चर्च साल 1555 में बनाया गया था।
ये चर्च मांडोवी नदी के किनारे स्थित है। ये चर्च सेंट जेरोम को समर्पित है।
इतिहासकारों का मानना है कि ये चर्च एक प्राचीन मंदिर के ऊपर बना हुआ है।
हर साल 6 जनवरी को इस चर्च में उत्सव का आयोजन किया जाता है।