नई दिल्ली: कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में भारत कुछ अच्छे संकेत मिल रहे हैं। देश में नए मामले की तेजी में कमी आई है और रिकवरी रेट अमेरिका और पश्चिमी देशों से कहीं बेहतर है। राज्यों में केरल का रिकवरी रेट सबसे बेहतर (98.9 प्रतिशत) है। लॉकडाउन लागू किए जाने से पहले हर चौथे दिन केस डबल हो जा रहे थे लेकिन अब इसमें 7.5 दिन का वक्त लग रहा है। भारत के कई जिले ऐसे हैं जहां पिछले 14 दिन से कोई नया मामला नहीं आया है। लॉकडाउन से कोरोना केसों कमी24 मार्च को लॉकडाउन लागू किए जाने से पहले भारत में हर 3.4 दिन में कोरोना के मामले डबल हो रहे थे। हालांकि, अभी का आंकड़ा बताता है कि केसेज डबल होने में अब 7.5 दिन लग रहे हैं।
देश के 18 राज्यों में तो राष्ट्रीय औसत से भी ज्यादा वक्त में केस डबल हो रहे हैं। केरल और ओडिशा जैसे राज्यों में केस डबल होने में 30 दिन से ज्यादा का वक्त लग रहा है। दिल्ली में हर 8.5 दिन में मामले दोगुने हो रहे हैं। कोरोना से रिकवरी के मामले में भारत अमेरिका और फ्रांस जैसे विकसित देशों की तुलना में काफी अच्छी स्थिति में है।
भारत में हर 10 केसों में 8 क्लोज्ड केस हैं, जबकि 2 की मौत हुई है। अगर रिकवरी रेट के वैश्विक स्तर 79.1% से तुलना करें तो भारत की स्थिति काफी अच्छी है। भारत में रिकवरी रेट 83.6% है। क्लोज्ड केस के मामले में भारत दूसरे नंबर पर है। क्लोज्ड केस में वैसे केस हैं जिनमें या तो मरीज ठीक हो गया है या फिर मौत हुई हो। इसमें ऐक्टिव मामलों को शामिल नहीं किया गया है।
जर्मनी में कुल 92,642 केस क्लोज्ड यानी रिकवरी रेट 95% का है। भारत में रिकवरी रेट 83.6% है। देश में 3,413 केस क्लोज्ड हैं। स्पेन में 97,810 क्लोज्ड केस, रिकवरी रेट 79.1%। इटली में 70,715 केस क्लोज्ड है। यहां रिकवरी रेट 66.5% है। अमेरिका 1,11,609 क्लोज्ड केस, रिकवरी रेट 63.5% है। जहां तक देश में रिकवरी रेट की बात है तो केरल इसमें नंबर वन है।
इस दक्षिण के राज्य में रिकवरी रेट 98.9% है। तमिलनाडु 96.5%, राजस्थान 92.9%, तेलंगाना में 91.2%, कर्नाटक में 87.4%, उत्तर प्रदेश में 86.4%, महाराष्ट्र में 69.5%, मध्य प्रदेश में 64.5% गुजरात में 62.5% और राजधानी दिल्ली में 61.5% रिकवरी रेट है। राजधानी दिल्ली में रिकवरी रेट देश में सबसे कम है।