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Pegasus फोन टैपिंग केस में अब फ्रांस सरकार ने बैठाई जांच, भारत में सत्तापक्ष और विपक्ष हैं आमने-सामने

भारत समेत दुनिया के कई देशों को हिलाने वाले पेगासस फोन टैपिंग केस ने हिलाकर रख दिया है। इस मामले पर गंभीर रुख अपनाते हुए अब फ्रांस सराकर ने जांच बैठा दी है। समाचार एजेंसी AFP के मुताबिक, फ्रांस सरकार ने Pegasus मीडिया जासूसी के मामले में जांच शुरू कर दी गई है।

By संतोष सिंह 
Updated Date

नई दिल्ली। भारत समेत दुनिया के कई देशों को हिलाने वाले पेगासस फोन टैपिंग केस ने हिलाकर रख दिया है। इस मामले पर गंभीर रुख अपनाते हुए अब फ्रांस सराकर ने जांच बैठा दी है। समाचार एजेंसी AFP के मुताबिक, फ्रांस सरकार ने Pegasus मीडिया जासूसी के मामले में जांच शुरू कर दी गई है। बता दें कि हाल ही में अंतरराष्ट्रीय मीडिया कंपनियों ने जो खुलासा किया है, उसके मुताबिक Pegasus स्पाइवेयर का इस्तेमाल करके करीब एक हजार फ्रांसीसी लोगों को निशाना बनाते हुए उनके फोन टैप किए गए हैं।

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बता दें कि Pegasus के जरिए करीब 1 हजार फ्रांसीसी लोगों को टारगेट किया गया था। इनमें 30 पत्रकार समेत अन्य मीडिया पर्सन शामिल हैं। मीडिया में आई खबरों के मुतातबिक जिन पत्रकारों के फोन टैप किए गए उनमें Le Monde, Le Canard Enchaîné, Le Figaro, Agence France-Presse और France Télévisions के पत्रकार भी शामिल हैं। फ्रांस को जो कंपनी इस पूरी जांच में शामिल रही है उससे जुड़े एक पत्रकार का भी फोन हैक किया गया था।

भारत में जासूसी कांड को लेकर संसद के दोनों सदनों में लगातार हंगामा जारी

अंतरराष्ट्रीय मीडिया में दावा किया गया कि इज़रायल सॉफ्टवेयर Pegasus की मदद से भारत के करीब 40 से अधिक पत्रकारों, राहुल गांधी समेत कई विपक्षी नेताओं, केंद्रीय मंत्रियों समेत अन्य लोगों के फोन हैक किए जाने की बात कही गई है।

जब​कि इस मामले में केंद्र सरकार ने कहा कि भारत जैसे लोकतंत्र में प्राइवेसी एक मौलिक अधिकार है। ऐसे में जो रिपोर्ट सामने आई है वह पूरी तरह से गलत है। रिपोर्ट को अपने अनुसार तैयार किया गया जिसमें जांचकर्ता-ज्यूरी सब वह खुद ही हैं। सरकार ने संसद में भी इस बारे में सफाई दी है कि ऐसी किसी भी तरह की गतिविधि में भारत सरकार संलिप्त नहीं है। मीडिया रिपोर्ट्स में इन दावों के बाद विपक्ष ने सरकार पर निशाना साधा है। संसद के दोनों सदनों में लगातार इस मसले पर हंगामा जारी है। वहीं सरकार ने साफ किया है कि वह किसी जासूसी में शामिल नहीं है ये आरोप सिर्फ छवि बिगाड़ने के लिए लगाए गए हैं।

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इस खुलासे के बाद विपक्ष आगबबूला है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा इस मुद्दे को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है, जबकि कांग्रेस, शिवसेना,राजद, टीएमसी समेत अन्य पार्टियों द्वारा इस मसले पर संसद में नोटिस दिया है। संसद के मॉनसून सत्र से ठीक पहले हुए इस खुलासे की गूंज संसद के दोनों सदनों में सुनाई दे रही है है।

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