प्रमुख सचिव नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति अनुराग श्रीवास्तव (Principal Secretary Anurag Srivastava) का निजी डाटा हैक कर रंगदारी मांगने वाला मास्टरमाइंड सत्यप्रकाश को अरेस्ट कर सोमवार को साइबर क्राइम थाने (Cyber Crime Police Station) की पुलिस ने जेल भेज दिया है।
लखनऊ। प्रमुख सचिव नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति अनुराग श्रीवास्तव (Principal Secretary Anurag Srivastava) का निजी डाटा हैक कर रंगदारी मांगने वाला मास्टरमाइंड सत्यप्रकाश को अरेस्ट कर सोमवार को साइबर क्राइम थाने (Cyber Crime Police Station) की पुलिस ने जेल भेज दिया है।
बता दें कि इकाना सिटी, गोमतीनगर विस्तार निवासी सत्यप्रकाश जल जीवन मिशन में आईटी कंसल्टेंट के पद पर काम कर रहा था। प्रमुख सचिव के लैपटॉप की खराबी दूर करने के बहाने डाटा हैक पासवर्ड मांगा था। पूर्व में अरेस्ट हुए तीन आरोपियों की मेल आईडी भी हैक कर करतूत को अंजाम दे रहा था। सत्यप्रकाश ने इस करतूत में नाबालिग बच्चे को भी शामिल किया था।
बता दें कि इससे पहले बीते 12 दिसंबर को ईमेल के जरिए 80 लाख की रंगदारी मांगने वाले तीन आरोपियों को लखनऊ की साइबर थाना पुलिस गिरफ्तार कर चुकी थी। आरोपी परिवार व सदस्यों का निजी डाटा हैक कर रंगदारी मांग रहे थे। तीनों आरोपी ग्रामीण जलापूर्ति विभाग में संविदा पर काम करते थे। आरोपियों ने लखनऊ से ही उनके क्रेडिट कार्ड से खरीदारी भी की थी।
साइबर क्राइम थाना प्रभारी मोहम्मद मुस्लिम खा ने बताया कि प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव (Principal Secretary Anurag Srivastava) व उनके परिजनों को धमकी भरा ई-मेल भेजकर रंगदारी मांगने वाले तीन युवकों को सर्विलांस की मदद से गिरफ्तार किया गया है। आरोपियों की पहचान लखनऊ के उजैठिया बाजार के रहने वाले अमित प्रताप सिंह, रजनीश निगम, एल्डिको सौभाग्यम वृन्दावन के रहने वाले और गोमतीनगर निवासी हार्दिक खन्ना के रूप में हुई है।
पुलिस जांच में सामने आया है कि तीनों आरोपी ग्रामीण जलापूर्ति विभाग में संविदाकर्मी थे। कार्यालय में तीनों सर्वर का काम देखते थे। आरोपियों ने लखनऊ से ही उनके क्रेडिट कार्ड से खरीदारी भी की थी। विभाग की तरफ से आए कुछ डेटा से छेड़छाड़ कर आरोपियों ने प्रमुख सचिव को धमकी भरा ईमेल भेजा था। साथ ही प्रमुख सचिव और उनके परिवार के चार लोगों की मेल आईडी और डेटा हैककर सभी से बिटकॉइन में करीब 80 लाख की रंगदारी मांगी थी।
उन्होंने बताया कि 21 नवंबर को प्रमुख सचिव के मोबाइल फोन पर मैसेज आया था कि उनके एसबीआई क्रेडिट कार्ड से विदेशी मुद्रा में 49,999 रुपये का ट्रांजेक्शन किया गया है। इस पर उन्होंने ऐप के माध्यम से क्रेडिट कार्ड ब्लॉक करने का प्रयास किया, लेकिन वह ब्लॉक नहीं हो सका। जिसके बाद उन्होंने बैंक से संपर्क करते हुए कार्ड और खाते को ब्लॉक करवाया।