वाराणसी। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के संस्कृत विद्या धर्म विज्ञान संकाय (एसवीडीवी) में असिस्टेंट प्रोफेसर पद पर नियुक्ति के बाद मचे घमासान के बाद डॉ. फिरोज खान शुक्रवार को पहली बार परिसर पहुंचे। डॉ फिरोज खान आयुर्वेद विभाग में संस्कृत के असिस्टेंट प्रोफेसर के इंटरव्यू के लिए पहुंचे थे। हालांकि यहां भी यूनिवर्सिटी प्रशासन उन्हें मीडिया के कैमरों से बचाने की कोशिश करता रहा। इंटरव्यू होलकर भवन की जगह वीसी आवास पर कर दिया गया। सुबह सात बजे से शुरू हुए इंटरव्यू में उनका नंबर पहला रखा गया। उनके यहां दिखाई देने के बाद भी यूनिवर्सिटी के अधिकारी उनके बारे में जानकारी से इनकार करते रहे।
बता दें इस महीने डॉक्टर फिरोज खान की नियुक्ति संस्कृत विद्या धर्म विज्ञान संकाय में हुई थी। नियुक्ति के बाद से ही यहां के छात्रों ने गैर हिन्दू होने के कारण आंदोलन शुरू कर दिया। लगातार 15 दिनों तक धरना प्रदर्शन चलता रहा। इसे लेकर पूरे देश में मचे बवाल के बाद धरना तो खत्म हो गया लेकिन नियुक्ति के खिलाफ आंदोलन जारी है। संकाय के छात्र जहां नियुक्ति रद करने की मांग कर रहे हैं तो वहीं कई संगठन इस मांग के खिलाफ भी सामने आ गए। नियुक्ति पर मचे बवाल के बीच न तो क्लास शुरू हुए न ही फिरोज कभी कहीं दिखाई दिए।
इसी बीच आयुर्वेद संकाय में संस्कृत शिक्षक की नियुक्ति के इंटरव्यू के लिए अभ्यर्थियों की सूची जारी हुई तो डॉ. फिरोज खान का नाम सबसे ऊपर दिखाई दिया। माना गया कि बीच का रास्ता निकाला जा रहा है। चर्चा होने लगी कि डॉ. फिरोज खान शुक्रवार से होने वाले साक्षात्कार में शामिल होते हैं या नहीं, इस चर्चा के बीच विश्वविद्यालय प्रशासन ने इंटरव्यू स्थल होल्कर हाउस के आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी। लेकिन सुबह सात बजे तक होलकर भवन पर ताला लगा रहा।
इंटरव्यू का स्थान बदल कर वीसी आवास स्थित गेस्ट हाउस में कर दिया गया। यहां साक्षात्कार शुरू हुआ तो सभी की नजरें फिरोज खान को खोजने लगीं। किसी को अंदर जाने की इजाजत तो नहीं मिली लेकिन एक कार में बीएचयू के अधिकारी के साथ फिरोज वहां से निकलते दिखाई दिए। यूनिवर्सिटी के अधिकारी तो इस बारे में कुछ नहीं बोल रहे लेकिन इंटरव्यू देने पहुंचे अन्य अभ्यर्थियों की मानें तो एलडी गेस्ट हाउस से सभी को वीसी गेस्ट हाउस बुलाया गया था। सात बजे से आठ लोगों का इंटरव्यू होना था। सात बजे सात लोग एक साथ ही पहुंचे और साथ ही बैठे थे। इन लोगों से अलग और सबसे पहले फिरोज को बीएचयू के कुछ अधिकारी अपने साथ लेकर आये और इंटरव्यू दिलाकर साथ ले गए।