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कालीचरण की देखें पूरी कुंडली, जानें किस महाराज से ली है दीक्षा?

By संतोष सिंह 
Updated Date

नई दिल्ली।राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के खिलाफ अमर्यादित टिप्पणी करने वाले धर्मगुरु कालीचरण महाराज को मध्यप्रदेश के खजुराहो से रायपुर पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। बता दें कि पिछले दिनों छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में आयोजित धर्म संसद में कालीचरण महाराज ने महात्मा गांधी को लेकर विवादित बयान दिया था। उन्होंने महात्मा गांधी की हत्या के लिए नाथूराम गोडसे की सराहना की। इसके साथ ही कहा कि लोगों को धर्म की रक्षा के लिए सरकार के प्रमुख के रूप में एक कट्टर हिंदू नेता को चुनना चाहिए, लेकिन सबसे बड़ा सवाल है कि कालीचरण महाराज कौन हैं? ये किस बाबा या संत से प्रेरित हैं? आइए हम आपको कालीचरण की पूरी कुंडली के बारे में बताते हैं।

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बता दें कि कालीचरण महाराष्ट्र के अकोला के पुराना शहर शिवाजी नगर के सामान्य परिवार के रहने वाले हैं। कालीचरण का असली नाम अभिजीत धनंजय सराग है। वो भावसार समाज के हैं। उनके पिताजी धनंजय सराग की जैन चौक में मेडिकल की दुकान है।

भय्यूजी महाराज से ली थी दीक्षा

कालीचरण उर्फ अभिजीत सारग शिवाजी नगर परिषद स्कूल में आठवीं क्लास तक ही पढ़े। पढ़ाई में मन नहीं लगने के कारण उनके माता-पिता ने अपनी बहन यानी कालीचरण को मौसी के यहां इंदौर भेज दिया। यहीं पर वह मराठी से हिंदी बोलना सीखे। इसके अलावा संत भय्यूजी महाराज के आश्रम में जाने लगे, वहां के काम में उनकी रूचि आने लगी और यहीं से उनको भय्यूजी महाराज की गुरु प्राप्ति हुई। यहीं पर अभिजीत सारग  कालीचरण महाराज के नाम से जानने लगे।।

शिव तांडव स्त्रोत से चर्चा में आए कालीचरण

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कालीचरण खुद को शिवभक्त कहते हैं। वह लाल रंग का वस्त्र धारण करते हैं और ललाट पर सिंदूर का टीका लगाते हैं। वह हर साल अकोला में कावंड यात्रा में भाग लेते हैं। कालीचरण महाराज अपने रूप और श्रृंगार को लेकर चर्चा में रहते हैं। कालीचरण महाराज पिछले साल उस समय सुर्खियों में आए थे जब उन्होंने मध्य प्रदेश में शिव तांडव स्त्रोत गाया था। उनका ये वीडियो इंटरनेट पर तेजी से  वायरल हुआ था।

क्या है पूरा मामला?

रायपुर के रावण भाटा मैदान में पिछले रविवार को दो दिवसीय कार्यक्रम में कालीचरण महाराज ने राष्ट्रपिता गांधी के खिलाफ विवादित बयान दिया था। कालीचरण ने कहा कि इस्लाम का लक्ष्य राजनीति के माध्यम से राष्ट्र पर कब्जा करना है. हमारी आंखों के सामने उन्होंने 1947 में कब्जा कर लिया था। उन्होंने पहले ईरान, इराक और अफगानिस्तान पर कब्जा कर लिया था। उन्होंने राजनीति के माध्यम से बांग्लादेश और पाकिस्तान पर कब्जा कर लिया था। मैं नाथूराम गोडसे को साष्टांग प्रणाम करता हूं और उनकी सराहना करता हूं कि उन्होंने मोहनदास करमचंद गांधी की हत्या की।

बापू के खिलाफ कालीचरण के इस बयान पर राजनीतिक दलों ने निंदा की और कालीचरण के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। रायपुर के टिकरापारा थाना में कालीचरण के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई। बुधवार की देर रात खजुराहो से उन्हें गिरफ्तार कर लिया है।

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