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नजफगढ़ से विधायक कैलाश गहलोत ने थामा भाजपा झंडा , मनोहर लाल खट्टर ने दिलाई सदस्यता

By संतोष सिंह 
Updated Date

नई दिल्ली। दिल्ली की नजफगढ़ विधानसभा सीट (Najafgarh Assembly Seat) से विधायक कैलाश गहलोत (MLA Kailash Gehlot) सोमवार को भाजपा में शामिल हो गए हैं। भाजपा मुख्यालय (BJP Headquarters) में कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) को केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर (Manohar Lal Khattar) ने सदस्यता दिलाई है। वहीं इस दौरान दिल्ली भाजपा (Delhi BJP) के कई वरिष्ठ नेता वहां मौजूद रहे। कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) ने रविवार को ही आप की प्राथमिक सदस्यता और मंत्री पद से इस्तीफा दिया था।

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कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) ने 19 फरवरी 2015 को पहली बार दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्री के रूप शपथ ली थी। उसके बाद वह लगातार तीन बाद मंत्री बनाए गए। इस्तीफा देने से पहले कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) ने आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल (Aam Aadmi Party’s National Convener Arvind Kejriwal) को पत्र लिखकर पार्टी पर गंभीर आरोप लगाए।

केजरीवाल को लिखे पत्र में गहलोत ने कहा कि इस समय आम आदमी पार्टी गंभीर चुनौतियां से गुजर रही है। पार्टी में राजनीतिक महत्वाकांक्षाएं लोगों के प्रति हमारी प्रतिबद्धता पर हावी हो गई हैं, जिससे कई वादे अधूरे रह गए हैं।  जो पार्टी ने दिल्ली की जनता से किए थे। यमुना को साफ करने का सपना पूरा नहीं हो पाया। यमुना अब पहले से ज्यादा प्रदूषित हो गई। इसके अलावा शीशमहल (मुख्यमंत्री आवास) जैसे कई अजीबोगरीब विवाद सामने आए। इसने पार्टी की छवि खराब हुई। सवाल उठ रहे हैं कि लोग पार्टी पर विश्वास कर रहे हैं। पार्टी लोगों के अधिकारों के लिए लड़ने के बजाय केवल अपने राजनीतिक एजेंडे के लिए लड़ रहे हैं।

इसने दिल्ली के लोगों को बुनियादी सेवाएं देने की हमारी क्षमता कमजोर हुई। दिल्ली सरकार अपना अधिकांश समय केंद्र से लड़ने में बिताती है जिससे दिल्ली का वास्तविक विकास नहीं हो सका। उन्होंने कहा कि राजनीतिक यात्रा दिल्ली के लोगों की सेवा करने के लिए शुरू की थी, इसे जारी रखना चाहता हूं। यही कारण है कि आप से अलग हो रहा हूं और पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देता हूं। इसके अलावा उन्होंने मुख्यमंत्री को भी पत्र लिखकर अपने पद से इस्तीफा दिया।

मुख्यमंत्री ने इस्तीफा किया मंजूर

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दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने नजफगढ़ से विधायक कैलाश गहलोत का मंत्री पद से स्वीकार कर लिया। वह दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्री थे। वहीं आम आदमी पार्टी के सूत्रों का कहना है कि कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) के खिलाफ ईडी और इनकम टैक्स के कई मामले चल रहे थे। उनके ऊपर कई बार ईडी (ED) और इनकम टैक्स (Income Tax) की छापेमारी हो चुकी है। ऐसे में इस छापेमारी से बचने के लिए उसके पास भाजपा में शामिल होने के अलावा दूसरा कोई विकल्प नहीं बचा था। यह भाजपा का गंदा षड्यंत्र है। भाजपा दिल्ली चुनाव ईडी (ED) और सीबीआई (CBI) के बल पर चुनाव जीतना चाहती है।

मुख्यमंत्री को मिले कैलाश गहलोत के विभाग

कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) के इस्तीफे के बाद उनके सभी विभाग मुख्यमंत्री को सौंप दिए गए हैं। सरकार के सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot)  के सारे विभाग मुख्यमंत्री आतिशी के पास रहेंगे। इस मामले में मुख्यमंत्री आतिशी ने दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना को प्रस्ताव भेज दिया है।

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