Advertisement
  1. हिन्दी समाचार
  2. उत्तर प्रदेश
  3. सपा सांसद बाबू सिंह कुशवाहा ने कोर्ट में किया सरेंडर, जानें पूरा मामला?

सपा सांसद बाबू सिंह कुशवाहा ने कोर्ट में किया सरेंडर, जानें पूरा मामला?

By संतोष सिंह 
Updated Date

जौनपुर। चुनाव आचार संहिता उल्लंघन (Violation of Election Code of Conduct) के मामले में जौनपुर के सपा सांसद बाबू सिंह कुशवाहा (Babu Singh Kushwaha) ने एमपी-एमएलए कोर्ट (MP-MLA Court) में बुधवार को आत्मसमर्पण किया। उनके अधिवक्ता समर बहादुर यादव ने उनकी जमानत के लिए कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया। कोर्ट ने 20,000 रुपये की दो जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया।

पढ़ें :- अखिलेश यादव ने वीडियो शेयर कर लिखा, चुनाव आयोग वोटिंग कम करवाने की इस साज़िश को करे नाकाम

सतीश कुमार मौर्य ने सिंगरामऊ थाने में 21 अप्रैल 2024 को शाम चार बजे जौनपुर लोकसभा क्षेत्र के सपा प्रत्याशी रहे बाबू सिंह कुशवाहा (Babu Singh Kushwaha) , सपा के पार्टी प्रभारी, जन अधिकार पार्टी के पार्टी प्रभारी के खिलाफ एफआईआर  दर्ज कराया था। एफआईआर के अनुसार, लोकसभा चुनाव 2024 में सपा प्रत्याशी बाबू सिंह कुशवाहा (Babu Singh Kushwaha), उनके अज्ञात समर्थकों द्वारा 21 अप्रैल 2024 को 11 बजे धारा 144 लागू होने के बाद भी सिंगरामऊ क्षेत्र के हाईवे पर मनमाने तरीके से भीड़ लगाकर जाम कर दिया गया।

प्रशासन द्वारा काफी समझाने का प्रयास किया गया तो नहीं मानें और उग्र होने लगे। इनके साथ बिना अनुमति लगभग 50-60 वाहन भी थे। इन लोगों द्वारा लोकसभा सामान्य निर्वाचन 2024 (Lok Sabha General Election 2024) में आचार संहिता का पूर्ण रूप से उल्लंघन किया गया। पुलिस ने एफआईआर दर्ज किया, तत्पश्चात विवेचना करके आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया।

सांसद बाबू सिंह कुशवाहा ने कोर्ट में किया आत्मसमर्पण

कोर्ट द्वारा आरोप पत्र को संज्ञान लेने के पश्चात बाबू सिंह कुशवाहा (Babu Singh Kushwaha) व अन्य के खिलाफ सम्मन जारी किया गया। इस पर बाबू सिंह कुशवाहा (Babu Singh Kushwaha) अपने समर्थकों के साथ दीवानी न्यायालय पहुंचे तथा अपने अधिवक्ता के माध्यम से कोर्ट में आत्मसमर्पण किया। कोर्ट ने जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया।

पढ़ें :- Jhansi Medical College Fire Accident : अखिलेश यादव ,बोले - ये सीधे-सीधे चिकत्सीय प्रबंधन व प्रशासन की लापरवाही, ख़राब क्वॉलिटी के आक्सीजन कॉन्संट्रेटर का मामला
Advertisement