नई दिल्ली। सपने नहीं हकीकत बुनते हैं, तभी तो सब मोदी को चुनते हैं। जहां विपक्ष की उम्मीद खत्म होती है, वहां से शुरु होती है मोदी की गारंटी। हाल की कुछ वर्षों में देश के वोटरों को विपक्ष के आश्वासन पर भरोसा कम मोदी की योजनाओं से मिल रहे लाभ पर ज्यादा बढ़ा है। इसलिए तो वो बीजेपी को चुन रहा है और लगातार चुन रहा है। हाल ही में संपन्न देश के पांच के राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में तीन प्रमुख बड़े राज्यों (मध्य प्रदेश,राजस्थान व छत्तीसगढ़) बीजेपी पूर्ण बहुमत के साथ जनता का भरोसा जीता है। हिंदी हॉर्ट लैंड कहे जानें वाले इन प्रदेशों में चल रही जनहित योजनाओं ( मुफ्त राशन राशन, लाडली बहना योजना, महतारी वंदन योजना,प्रधानमंत्री आवास योजना,आयुष्मान भारत योजना, पीएम किसान सम्मान निधि योजना,प्रधानमंत्री उज्जवला योजना) का जादू मतदाताओं को सिर पर चढ़कर बोल रहा है।
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आज देश के गरीब वोटर को तुरंत मिलने वाला लाभ दिख रहा है। तभी तो मोदी सरकार पर लगातार उसका विश्वास बढ़ता ही जा रहा है। हाल के वर्षों विधानसभा के चुनावी आंकड़ों पर नजर डालें तो कांग्रेस किसी भी राज्य दोबारा सत्ता में वापसी करने में असफल साबित हुई है। इसके विपरीत भारतीय जनता पार्टी लगातार सूबे की सत्ता में वापस लौटकर हर बार नया इतिहास रच रही है।
भारतीय जनता पार्टी ने देश के गरीब जनता की नब्ज पकड़ ली है। तभी उसने देश के इसी तबके को चिन्हित कर योजनाओं को ला रही है। इन योजनाओं के माध्यम से देश की करीब एक सौ पंद्रह करोड़ (115करोड़) जनता सीधे लाभान्वित हो रही है।
मोदी की गांरटी का विपक्ष पास नहीं है कोई काट
कोरानाकाल से केंद्र की मोदी सरकार देश के 80 करोड़ गरीबों लोगों को मुफ्त राशन राशन उपलब्ध करा रही है। इस योजना का लाभ बीजेपी (BJP) मिलता भी दिख रहा है। इसी को भांपते हुए पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने छत्तीसगढ़ के दुर्ग चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए बीते दिनों ऐलान किया कि मुफ्त में राशन योजना को अगले पांच साल और बढ़ा दिया है। मोदी ने देश के 80 करोड़ गरीबों को मुफ्त राशन देने वाली योजना को भाजपा सरकार अब अगले 5 साल के लिए और बढ़ाएगी। आपका ये प्यार और आशीर्वाद मुझे हमेशा पवित्र निर्णय करने की ताकत देता है।
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देश के गरीब तबके का आवास एक सपना होता था। केंद्र की मोदी सरकार ने प्रधानमंत्री आवास योजना को प्रमुख अभियान बनाते हुए केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय द्वारा कार्यान्वित किया जा रहा, जो सभी पात्र परिवारों को एक पक्का मकान सुनिश्चित करके स्लम निवासियों सहित ईडब्ल्यूएस/एलआईजी (EWS/LIG) और एमआईजी श्रेणियों के बीच शहरी आवास की कमी को दूर कर रही है। पिछले 9 वर्षों में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत करीब 3.5 करोड़ से अधिक लोगों को आवास उपलब्ध करा चुकी है। गरीब परिवार के लिए घर का महत्व महज दीवारें और आश्रय नहीं है, बल्कि उनके लिए आत्मसम्मान, गर्व और आत्मविश्वास के साथ बहुत कुछ है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आवास के स्वामित्व के महत्व को महसूस किया है।
आयुष्मान भारत योजना भारत सरकार की एक हेल्थ स्कीम 1 अप्रैल 2018 को शुरू की गई थी। इसके तहत आर्थिक रूप से कमजोर नागरिक अस्पतालों में जाकर मुफ्त में अपना इलाज की सुविधा दी जाती है। पहली अगस्त 2023 तक 24.33 करोड़ कार्ड बनाए गए हैं। संसद में कैग की ऑडिट रिपोर्ट पेश करते हुए स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री एसपी सिंह बघेल ने बताया कि 1 अगस्त, 2023 तक आयुष्मान भारत योजना के तहत कुल 24.33 करोड़ कार्ड बनाए गए हैं।
पीएम किसान देश में सभी कृषि भूमि वाले किसान परिवारों को खेती से जुड़े कार्यों में वित्तीय आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए आर्थिक मदद प्रदान करने की केंद्र सरकार की योजना है। योजना के तहत लाभार्थियों को साल में तीन बार वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। पीएम किसान योजना के तहत, सभी भूमिधारी किसान परिवारों को प्रति परिवार प्रति वर्ष पीएम किसान सम्मान निधि योजना के तहत केंद्र की मोदी सरकार किसानों को सालाना 6 हजार रुपये की आर्थिक मदद देती है। किसानों के खाते में हर 4 महीने में 2-2 हजार रुपये की राशि 3 किस्तों में भेजी जाती है। पीएम मोदी ने 15 नवंबर, 2023 को देश के पांच राज्यों में हो रहे विधानसभा चुनावों के बीच सभी पात्र किसानों को पीएम किसान योजना की 15वीं किस्त जारी की थी। पीएम मोदी ने झारखंड दौरे के दौरान प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के तहत 8 करोड़ से अधिक किसानों को 18,000 करोड़ रुपये से अधिक की रकम जारी की थी। बता दें कि इस योजना के तहत मोदी सरकार प्रति किसान परिवार करीब 30 हजार रुपये का लाभ ले चुकी है।
केंद्र की मोदी सरकार 1 मई 2016 को प्रधानमंत्री उज्जवला योजना लांच की थी। इस योजना के लाभार्थियों की तादाद फिलहाल करीब 9.60 करोड़ है। अब सरकार ने इसमें 75 लाख लाभार्थियों को और जोड़ने को मंजूरी दी है, जिसके बाद ये संख्या बढ़कर 10 करोड़ 35 लाख हो जाएगी। केंद्रीय कैबिनेट के इस फैसले से देश में प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के लाभार्थियों की संख्या में बड़ा इजाफा देखने को मिलेगा और ये बढ़कर 10 करोड़ के पार पहुंच जाएगी।
मोदी सरकार के स्वच्छ भारत मिशन के तहत राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में 11 करोड़ से अधिक शौचालय और 2.23 लाख सामुदायिक स्वच्छता परिसर बनाए गए। स्वच्छ भारत मिशन 2 अक्टूबर, 2014 को देश को 2 अक्टूबर, 2019 तक खुले में शौच मुक्त (ओडीएफ) बनाने के उद्देश्य से शुरू किया गया था। कार्यक्रम के शुभारंभ से पांच साल की अवधि के दौरान, 10 करोड़ से अधिक व्यक्तिगत घरेलू शौचालय सभी राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों में बनाए गए थे। 2 अक्टूबर 2019 तक सभी राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों ने खुद को ओडीएफ बताया था। सभी जिलों ने जिलों की ओडीएफ स्थिति की पुष्टि करते हुए जिला कलेक्टर/मजिस्ट्रेट द्वारा हस्ताक्षरित प्रमाण पत्र अपलोड किया था। हालांकि, राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों को सलाह दी गई थी कि वे शौचालयों के निर्माण के लिए किसी भी छूटे हुए घरों या नए घरों को कार्यक्रम के तहत शामिल करें। यह ध्यान दिया जाना चाहिए कि शौचालय की पहुंच व उपलब्धता के अलावा, इसका निरंतर उपयोग ओडीएफ स्थिति में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, जो मुख्य रूप से एक व्यवहारिक मुद्दा है।