जालंधर। पंजाब (Punjab) में जालंधर (Jalandhar) राष्ट्रीय महत्व के विषय केंद्र की मोदी सरकार की अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) पर अपने-अपने क्षेत्र के प्रतिष्ठित दिग्गजों ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस (Press Conference) कर बड़ा सवाल खड़ा किया है।
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पंजाब विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष प्रताप सिंह बाजवा (Leader of Opposition, Punjab Legislative Assembly Partap Singh Bajwa) ने कहा कि पंजाब की पुरानी संस्कृति है कि यहां पीढ़ी दर पीढ़ी लोग सेनाओं में सेवा देते हैं। उन्होंने कहा कि देश के जवान हर कोने में तैनात होकर सीमाओं की रक्षा करते हैं, लेकिन अब हमारी पहचान अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) के आने से कमजोर हो गई है।
प्रताप सिंह बाजवा (Partap Singh Bajwa)ने कहा कि सेना में स्थायी भर्ती बंद होने के बाद पंजाब के साथ कई राज्यों को नुकसान पहुंचा है। साथ ही अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) से हिंदुस्तान की सेना को भी काफी नुकसान हुआ है।
पूर्व उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल हरवंत सिंह (Former Deputy Army Chief Lieutenant General Harwant Singh) ने कहा कि हमारी सेना का ट्रैक रिकॉर्ड देखा जाए तो हमने कई सारे युद्ध जीतें हैं। कारगिल में पाकिस्तान का बुरा हाल किया था। उन्होंने कहा कि अगर कोई नया सिस्टम पुराने तरीके से बेहतर है तो उसे लागू करने से पहले उसका मूल्यांकन किया जाए। क्योंकि राष्ट्रीय सुरक्षा के मामले में हम किसी भी सिस्टम पर आंख बंदकर विश्वास नहीं कर सकते हैं।
लेफ्टिनेंट जनरल जसबीर सिंह धालीवाल, पूर्व महानिदेशक इन्फैंट्री (Lieutenant General Jasbir Singh Dhaliwal, former Director General Infantry) ने कहा कि किसी भी योजना को लागू करने से पहले सिस्टम में प्रयोग के तौर पर पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया जाता है,लेकिन जल्दबाजी में लाई गई अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) में ऐसी किसी भी प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने कहा है कि हम सरकार में आते ही इस योजना को ख़त्म कर देंगे, उनके इस फैसले से हम खुश हैं।
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1971 युद्ध के वॉर हीरो ब्रिगेडियर के.एस. कहलों (Brigadier K.S. Kahlon, war hero of 1971 war) ने कहा कि अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) लागू करने से पहले किसी से भी सलाह नहीं ली गई। उन्होंने कहा कि कोविड के दौरान जो युवा स्थायी भर्ती के तहत सेना में अपनी प्रक्रिया पूरी कर चुके थे, उन्हें भरोसे में लिया गया था।
लेकिन सरकार ने अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) लाने के बाद उन युवाओं को सेना में नहीं लिया। अब हालात ये हैं कि कई राज्यों के युवा सेनाओं में जाने की तैयारी बंद कर चुके हैं। अग्निवीर योजना (Agniveer Scheme) देश के युवा, सेना और राष्ट्रीय सुरक्षा के हित में नहीं है।