नई दिल्ली। चीन दुनिया के सामने एक बार फिर बेनकाब हुआ है। आस्ट्रेलियाई अखबार (Australian Newspaper) ने दावा किया है कि भारत के साथ गलवान घाटी (Galwan Valley) में हुए झड़प में चीन को भारी नुकसान हुआ था। इस दौरान उसके 38 सैनिक मारे गए थे। हालांकि इस दौरान चीन ने अपने चार सैन्य अधिकारियों और सैनिकों के मारे जाने की बात कही थी।
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यह रिपोर्ट ऑस्ट्रेलियाई अखबार द क्लैक्सन (The Klaxon) में प्रकाशित हुई है। एंथनी क्लान की विशेष रिपोर्ट ने खुलासा किया है कि घाटी में गलवान नदी को पार करते समय कई चीनी सैनिक पानी में बह गए थे और कई डूबकर मर गए थे। इनकी संख्या चीन की ओर से जारी किए गए आंकड़े की तुलना में बहुत अधिक थी। अखबार ने अपनी रिपोर्ट में कई गुमनाम शोधकर्ताओं और चीनी ब्लागर के निष्कर्षो का हवाला दिया है। अखबार ने कहा कि शोधकर्ताओं और ब्लागर ने सुरक्षा कारणों से अपना नाम बताने से इन्कार कर दिया, लेकिन उनके निष्कर्ष इस पूरे मामले पर नई रोशनी डालते हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक शोधकर्ताओं ने पाया कि चीनी सेना के मरने वाले सैनिकों की संख्या उन चार सैनिकों से कहीं ज्यादा थी, जिनकी जानकारी बीजिंग ने दी थी। इसमें यह दावा किया गया है कि 15-16 जून की लड़ाई के शुरुआती दौर में शून्य तापमान में तेजी से बहने वाली गलवां नदी में तैरने का प्रयास करते हुए कई चीनी सैनिक मारे गए थे।
बता दें कि मई 2021 में गलवन नदी (Galvan River) की एक धारा पर भारतीय सैनिकों ने पुल का निर्माण किया। वहीं पीएलए, अप्रैल से पारस्परिक रूप से तय बफर जोन में बुनियादी ढांचा तैयार कर रहा था। 6 जून को 80 पीएलए सैनिक (PLA Soldier) भारतीय पक्ष की ओर से बनाए गए पुल को तोड़ने आए। इसकी रक्षा के लिए 100 भारतीय सैनिक आगे आए। यह निर्णय लिया गया कि दोनों पक्ष बफर जोन को पार करने वाले सभी सैन्यकर्मियों को वापस बुलाएंगे, लेकिन पीएलए ने अपने वादे का पालन नहीं किया।