लखनऊ। यूपी की योगी सरकार ने भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टालरेंस की नीति अपनाते हुए अयोध्या के राजर्षि दशरथ स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ. ज्ञानेंद्र कुमार को बीते दो जनवरी को पद से हटा दिया था। इसके साथ उन्हें चिकित्सा शिक्षा महानिदेशालय से संबद्ध दिया। इसके साथ ही डॉ. सत्यजीत वर्मा को अयोध्या मेडिकल कालेज का नया कार्यवाहक प्राचार्य नियुक्त कर दिया।
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योगी सरकार के भ्रष्टाचार के विरुद्ध इतने बड़े एक्शन के बाद स्वास्थ्य विभाग हाथ पर हाथ धरे बैठा रहा है। यूपी के प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा पार्थ सारथी सेन शर्मा ने भ्रष्टाचार प्रिंसिपल के खिलाफ दो सप्ताह बाद पत्र जारी करने की जहमत उठाई। इससे साफ साबित होता है कि स्वास्थ्य विभाग मुख्यमंत्री के आदेशों की जमकर अनदेखी करता है। जबकि डॉ. ज्ञानेंद्र कुमार पर भ्रष्टाचार के मामले में लोकायुक्त जांच पहले से चल रही है। साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश पर गृह विभाग से विजलेंस जांच भी जारी है।अयोध्या मेडिकल में कई करोड़ के घोटाले का आरोपी डॉ. ज्ञानेंद्र कुमार भ्रष्टाचार को चरम पर पहुंचाने में प्रमुख योगदान है।
तीन सदस्यीय कमेटी ने की थी जांच
अयोध्या के प्रधानाचार्य की लगातार गंभीर शिकायतें हुईं। उन पर पूर्व अनुमोदित फर्मों से क्रय की गई औषधियों, हाउस कीपिंग, बायोमेडिकल वेस्ट, मरीजों का खाने आदि का भुगतान न करते हुए लंबित बिलों का भुगतान करने में कमीशन की मांग के आरोप लगे हैं। शिकायत के बाद शासन ने 17 मई 2024 को अपर निदेशक, चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण की अध्यक्षता में वित्त नियंत्रक, चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण लखनऊ और अपर जिलाधिकारी (एफआर), अयोध्या की त्रिसदस्यीय समिति गठित की गई थी। कमेटी ने जांच कर आख्या लोकायुक्त को निर्णय के लिए 23 सितंबर 2024 को प्रेषित कर दी थी।
योगी सरकार ने भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टालरेंस की नीति को पलीता लगाता स्वास्थ्य विभाग
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योगी सरकार ने भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टालरेंस की नीति को पलीता लगाते हुए यूपी के प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा पार्थ सारथी सेन शर्मा दो सप्ताह बाद (16 जनवरी) को पत्र जारी करने की जहमत उठाई।
उत्तर प्रदेश शासन चिकित्सा शिक्षा अनुभाग-3 के तरफ से जारी पत्र में उल्लेख किया गया है कि डॉ.ज्ञानेंद्र कुमार प्रधानाचार्य, स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय, अयोध्या के विरुद्ध प्राप्त कतिपय शिकायतों की जांच प्रचलित है। उक्त के दृष्टिगत अन्तिम निर्णय होते तक डा. ज्ञानेन्द्र कुमार को महानिदेशक, चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण, लखनऊ के कार्यालय से सम्बद्ध किया जाता है। इसके साथ ही डॉ. सत्यजीत वर्मा, आचार्य एवं विभागाध्यक्ष, जनरल सर्जरी, स्यशासी राज्य चिकित्सा महाविधालय, अयोध्या को स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय, अयोध्या के प्रधानाचार्य पद का कार्यभार अग्रिम आदेशों तक एतद्द्वारा प्रदान किया जाता है। इस कार्य हेतु डॉ. सत्यजीत वर्मा को कोई अतिरिक्त वेतन/भत्ते देय नहीं होंगे।