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ISIS से जुड़े सुसाइड बॉम्बर को रूस ने किया गिरफ्तार, भाजपा के शीर्ष नेता पर हमले की थी साजिश

By संतोष सिंह 
Updated Date

मॉस्को । रूसी सुरक्षा एजेंसी (FSB) ने आतंकी संगठन आईएसआईएस (ISIS)  के एक आत्मघाती हमलावर को पकड़ लिया है। वह भारत में आत्मघाती हमले की फिराक में था। एफएसबी (FSB) के अधिकारियों ने बताया कि यह फिदायीन मध्य एशिया के एक देश का मूल निवासी है।

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रूसी समाचार एजेंसी स्पुतनिक (Russian News Agency Sputnik) के अनुसार आरंभिक पूछताछ में इस आतंकी ने कबूला है कि उसने भारत के एक शीर्ष नेता को निशाना बनाने की साजिश रची थी। उसने यह भी बताया कि आईएसआईएस (ISIS) भारत में हमले की साजिश रच रहा है ।इसके मुताबिक वह भारतीय लीडरशिप के अभिजात वर्ग के खिलाफ आतंकवादी हमले की साजिश रच रहा था।

तुर्की में ली थी आतंकी ट्रेनिंग, रूस होकर भारत आने वाला था

एफएसबी (FSB)  के अनुसार वह अप्रैल से जून तक तुर्की में था और उसने वहां आतंकवाद की ट्रेनिंग ली थी। उसे पहले रूस भेजा गया और वहां से भारत भेजने की तैयारी थी। रूसी सुरक्षा एजेंसी ने बताया कि इस आतंकी ने भारत के सत्तारूढ़ दल (BJP) के एक नेता की हत्या के लिए खुद को विस्फोटक से उड़ाने की योजना बनाई थी। उसे आईएसआईएस (ISIS) के एक शीर्ष नेता ने ‘सुसाइड बॉमर'(Suicide Bomber) के रूप में तुर्की में अपने संगठन में भर्ती किया था।

‘टेलीग्राम’ के जरिए आईएस से जुड़ा
रूसी सुरक्षा एजेंसी (Russian Security Agency) ने इस आतंकी का नाम फिलहाल उजागर नहीं किया है। बताया गया है कि वह सोशल नेटवर्किंग साइट ‘टेलीग्राम’ के जरिए इस वैश्विक आतंकी संगठन से जुड़ा था। आईएस से जुड़ने के बाद उसने आतंकी संगठन के प्रति वफादारी की कसम खाई थी।इसके बाद आईएसआईएस (ISIS) ने उसे आत्मघाती हमले का प्रशिक्षण दिया था। इसके बाद मॉस्को से उसे भारत भेजने की व्यवस्था की गई थी। आईएसआईएस (ISIS) ने उसे भाजपा (BJP) के किसी बड़े नेता को निशाना बनाने का जिम्मा सौंपा था।

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आतंकी हरकतों पर सरकार की नजर
गौरतलब है कि इस्लामिक स्टेट और इससे जुड़ी सभी शाखाओं को आतंकवादी संगठन के रूप में नोटिफाइड किया गया है। साथ ही केंद्र सरकार की ओर से गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, 1967 की पहली अनुसूची में भी इसे शामिल किया गया है।

सोशल मीडिया के जरिए गुमराह करने की कोशिश
गृह मंत्रालय के मुताबिक, आईएस अपनी विचारधारा को फैलाने के लिए विभिन्न इंटरनेट आधारित सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रहा है। इसे लेकर संबंधित एजेंसियों की ओर से साइबरस्पेस पर कड़ी नजर रखी जा रही है। साथ ही कानून के आधार पर दोषियों के खिलाफ एक्शन भी लिया जा रहा है।

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