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SCO Summit : पीएम मोदी ने इशारों-इशारों में रूसी राष्ट्रपति को दिया बड़ा सुझाव बोले – युद्ध का जमाना नहीं है, शांति चुनो

By संतोष सिंह 
Updated Date

SCO Summit : समरकंद में शंघाई सहयोग संगठन (SCO) शिखर सम्‍मेलन के दौरान शुक्रवार को भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Indian Prime Minister Narendra Modi) और रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन (Russian President Vladimir Putin) की मुलाकात हुई। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi) और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (President Vladimir Putin) के बीच बातचीत हुई।  पीएम मोदी (PM Modi)  ने इशारों-इशारों में रूस के राष्ट्रपति (Russian President) को युद्ध को लेकर एक सुझाव भी दे डाला। उन्होंने स्पष्ट कहा कि यह युग युद्ध का नहीं है। उन्होंने कहा कि डेमोक्रेसी, डिप्लोमेसी और डायलॉग से ही दुनिया को सही संदेश मिलेगा।  वहीं ऊर्जा-सुरक्षा पर भी इस दौरान चर्चा हुई। पहले यह मीटिंग आधे घंटे के लिए होनी थी, लेकिन दोनों के बीच करीब एक घंटे तक मुलाकात चली।

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रूस  यात्रा पर पुतिन ने पीएम मोदी को किया आमंत्रित

इस दौरान रूस के राष्ट्रपति ने भारतीय प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi)  को रूस की यात्रा पर आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि हमारे बीच कंस्ट्रक्टिव रिश्ते रहे हैं। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने रूस से फर्टिलाइजर की जो मांग की है, उसे पूरी करेंगे। उम्मीद है कि भारत के कृषि क्षेत्र में मदद होगी। उन्होंने कहा कि बहुत सारे विषयों पर बात हुई। पिछले साल दिसंबर में बात हुई। इस बीच एक टेलीफोन पर बात हुई। इस दौरान दि्वपक्षीय के साथ अन्य बातों पर भी चर्चा हुई।

मोदी ने जताया आभार
इसके बाद बोलते हुए पीएम मोदी (PM Modi)  ने कहा कि आपका और यूक्रेन का आभार व्यक्त करना चाहूंग। उन्होंने कहा कि आप दोनों की मदद से युद्ध के दौरान हम अपने स्टूडेंट्स को खतरे के बीस से बाहर निकाल पाए। उन्होंने कहा कि भारत और रशिया के संबंध कई गुना आगे बढ़े हैं। इस मौके पर पीएम मोदी ने अपनी और पुतिन की दोस्ती का भी जिक्र किया। पीएम मोदी (PM Modi)  ने कहा कि हम एक ऐसे मित्र रहे हैं जो पिछले कई दशकों से एक दूसरे के साथ रहे हैं। पूरी दुनिया यह बात जानती है। 2001 में आपसे पहली बार मिला तब मैं एक स्टेट हेड था था। तब से लगातार हमारी दोस्ती बढ़ती जा रही है। आज आपने भारत के लिए जो भावनाएं व्यक्त की हैं। उससे हमारे संबंध अच्छे होंगे और दुनिया की आशा भी पूरी होगी।

क्या है एससीओ
एससीओ (SCO)  की शुरुआत जून 2001 में शंघाई में की गई थी। चीन, कजाखिस्तान, किर्गिस्तान, रूस, तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान इसके छह संस्थापक और भारत व पाकिस्तान के रूप में पूर्णकालिक सदस्य हैं। भारत और पाकिस्तान 2017 में इसमें शामिल हुए थे। एससीओ सबसे बड़े अंतर-क्षेत्रीय अंतरराष्ट्रीय संगठनों में से एक के रूप में उभरा है।

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पीएम ने जिनपिंग और शरीफ से किया किनारा
गौरतलब है कि भारत और रूस के बीच सैन्य साजो सामान और तेल का व्यापार प्रमुख रूप से होता था। ऐसे में पीएम मोदी (PM Modi)   और पुतिन की मुलाकात पर पूरी दुनिया की निगाहें हैं। इससे पहले दिन में भारतीय प्रधानमंत्री ने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग (Chinese President Xi Jinping) और पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ(Pakistani Prime Minister Shahbaz Sharif ) से दूरी बनाकर रखी थी। बता दें कि पाकिस्तान ने हाल ही में भारत से कारोबारी संबंधों को बहाल करने के संकेत दिए थे। लेकिन भारत ने इस पर कुछ रिस्पांस नहीं दिया था। वहीं चीन के साथ भी भारत का आतंकवाद, सीमा विवाद समेत कई मसलों पर टकराव है।

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