नई दिल्ली। केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में देश के 16 राज्यों में भारतनेट के लिए 19,041 करोड़ रुपये के वायबिलिटी गैप फंडिंग को मंजूरी दे दी गई है। सरकार के इस फैसले के बाद गांवों में ब्रॉडबैंड इंटरनेट सुविधा पहुंचेगी और पीपीपी मॉडल के जरिए भारतनेट कार्यान्वयन रणनीति को अनुमति दी गई है। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने सरकार के इस फैसले को ऐतिहासिक बताया है।
पढ़ें :- यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने बदले अपने सुर, कहा-भाजपा में न मतभेद था, न है, न होगा
पिछली 15 अगस्त को लाल किले की प्राचीर से पीएम मोदी ने घोषित किया था कि 1000 दिन में छह लाख गांवों में भारतनेट के माध्यम से ऑप्टिकल फाइबर ब्रॉडबैंड लाएंगे। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि हम 1.56 लाख ग्राम पंचायतों में पहुंच चुके हैं। देश की 2.5 लाख ग्राम पंचायतों को ऑप्टिकल फाइबर से जोड़ना था। आज भारत नेट को पीपीपी मॉडल के माध्यम से देश के 16 राज्यों में 29,432 करोड़ रुपये के कुल खर्च पर हमने मंजूरी दी है।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सरकार की ओर से वायबिलिटी गैप फंडिंग 19,041 करोड़ रुपये की होगी। ये हम देश के तीन लाख 61 हजार गांवों में जो 16 राज्यों में हैं वहां पीपीपी मॉडल के माध्यम से ला रहे हैं। हमने इसे 16 राज्यों में नौ पैकेज बनाया है। किसी एक प्लेयर को चार पैकेज से अधिक नहीं मिलेगा।