वाराणसी। काशी विश्वनाथ मंदिर (Kashi Vishwanath Temple) से सटी ज्ञानवापी मस्जिद प्रकरण (Gyanvapi Masjid episode) में शृंगार गौरी समेत अन्य विग्रहों के सर्वे के लिए नियुक्त कोर्ट कमिश्नर (Court Commissioner ) को बदलने की मांग वाली याचिका पर गुरुवार को फैसला आ गया है। कोर्ट ने 17 मई से पहले दोबारा सर्वे का आदेश दिया है। इसके साथ ही कोर्ट कमिश्नर (Court Commissioner ) भी नहीं बदला जाएगा। लगातार तीन दिन तक दोनों तरफ की बहस के बाद बुधवार सिविल जज (सीनियर डिविजन) की अदालत में फैसला सुरक्षित कर लिया था।
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कोर्ट ने आदेश दिया है कि पूरे परिसर का सर्वे होगा। कोर्ट कमिश्नर (Court Commissioner ) की कार्रवाई जारी रहेगी। अजय मिश्र को नहीं बदला जाएगा। विशाल सिंह को विशेष कमिश्नर बनाया गया है। जो पूरी टीम का नेतृत्व करेंगे। उनके साथ अजय प्रताप सिंह को भी शामिल किया गया है।
वादी पक्ष के अधिवक्ता ने कोर्ट से अपील की कि चाबी जिस किसी के पास हो, उससे ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid) का तहखाना खुलवाएं या ताला तुड़वाएं। कोर्ट कमिश्नर (Court Commissioner ) को अंदर प्रवेश कराकर सर्वे पूरा कराया जाय। वहीं, विपक्षी अधिवक्ता ने सन-1937 के निर्णय का हवाला देते हुए कहा कि मस्जिद का कोर्ट यार्ड वक्फ बोर्ड की संपत्ति है तो उसका सर्वे कैसे हो सकता है। इस प्रकरण में पहली बार काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास के अधिवक्ता ने भी अपना पक्ष रखा।