हाथरस। यूपी (UP) के हाथरस जिले (Hathras District) की डीएम अर्चना वर्मा (DM Archana Verma) ने सरकारी अफसरों और कर्मचारियों एक मिसाल कायम की है। ऐसा इसलिए है क्योंकि उन्होंने अपने बेटे का दाखिला किसी बड़े नर्सरी स्कूल की जगह आंगनबाड़ी केंद्र में कराया है। जबकि आमतौर पर किसी बड़े अधिकारी के बच्चे किसी इंटरनेशनल स्कूल (International School) में पढ़ते हैं, लेकिन डीएम के इस कदम ने सभी को चौंका दिया है।
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हाथरस की डीएम अर्चना वर्मा (Hathras DM Archana Verma) को एक बेटी और एक बेटा है। उन्होंने अपने सवा दो साल के बेटे अभिजीत का दाखिल किसी प्ले ग्रुप या किसी बड़े इंटरनेशनल स्कूल में नहीं कराया है, बल्कि उन्होंने अपने आवास के पास ही गांव दर्शना के आंगनबाड़ी केन्द्र (Anganwadi Center) में कराया है। डीएम का बेटा अभिजीत रोज गांव के ही आम बच्चों के साथ कई घंटे बिताता है। उन्हीं बच्चों के साथ कतार में बैठकर आंगनबाड़ी में मिलने वाले मिड डे मील (Mid-Day Meal) भी खाता है। सभी बच्चों के साथ वह खेलता कूदता भी है।
इस आंगनबाड़ी केंद्र (Anganwadi Center) में सभी बच्चों के साथ एक समान व्यवहार होता है। डीएम के बेटे के दाखिले के बाद वहां बच्चों की संख्या बढ़ी है। अब दर्शना के आंगनबाड़ी पर 34 बच्चे आते है। गुरुवार की सुबह ग्यारह बजे अभिजीत केंद्र पहुंचते ही खेलने कूदने में मस्त हो गया। जैसे ही खाने का समय हुआ तो वहां हर बच्चे के लिए अलग से थाली लगाई गई। अभिजीत को भी वही खाना परोसा गया।
कुछ दिन पहले पता चला अभिजीत है डीएम का बेटा
दर्शना केन्द्र की आंगनबाड़ी ओमप्रकाशी (Darshana Kendra’s Anganwadi Omprakashi) का कहना है कि अभिजीत तीन महीने से रोज पढ़ने के लिए आता है, लेकिन कुछ दिन पहले ही पता चला कि वह डीएम साहब का बेटा है। कभी कभार डीएम साहब की बेटी भी उसके साथ पढ़ने के लिए आती है। अभिजीत के आने के बाद कुछ बच्चों की संख्या में भी इजाफा हुआ है। जिला कार्यक्रम अधिकारी धीरेन्द्र उपाध्याय (District Program Officer Dhirendra Upadhyay) ने बताया कि जनपद में 1712 आंगनबाड़ी केन्द्र (Anganwadi Center) संचालित है। इनमें डेढ़ लाख बच्चे पंजीकृत है। दर्शना के आंगनबाड़ी केन्द्र (Anganwadi Center) में डीएम मैडम का बेटा पढ़ता है। डीएम मैडम ने अपने बेटे को आंगनबाड़ी (Anganwadi) में पढ़ाकर सभी को संदेश दिया है कि सरकारी स्कूलों में भी पढ़ाई होती है। अभिजीत भी आम बच्चों की तरह केन्द्र पर पढ़ता है।