Hindenburg Research Shuts Down: अमेरिका की शॉर्ट सेलिंग फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च ने शट डाउन (Hindenburg Research Shuts Down) का ऐलान किया है। कंपनी के फाउंडर नाथन एंडरसन ने खुद इसके बंद होने की घोषणा की है। हालांकि, उन्होंने हिंडनबर्ग रिसर्च को बंद करने के कारणों का पूरी तरह से खुलासा नहीं किया है। यह कंपनी भारत और दुनिया के जाने माने उद्योगपति गौतम अडानी (Gautam Adani) के अडानी ग्रुप (Adani group) पर कई बड़े आरोप लगाने के बाद काफी सुर्खियों में रही थी।
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दरअसल, नाथन एंडरसन (Nathan Anderson) ने शॉर्ट सेलिंग फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च (Hindenburg Research) की शुरुआत 2017 में की थी। यह बड़ी कंपनियों की वित्तीय धांधली का पर्दाफाश करने का दावा करती थी। कंपनी ने कई बड़ी कंपनियों के खिलाफ गंभीर वित्तीय गड़बड़ी के आरोप लगाए थे। इनमें भारत का अडानी ग्रुप और अमेरिका का इकान एंटरप्राइजेज शामिल रहे हैं। देश में हिंडनबर्ग रिसर्च का नाम जनवरी 2023 में पहली बार सुर्खियों में आया था। उस समय इस संगठन ने अडानी ग्रुप पर शेयरों की कीमत के साथ छेड़छाड़ सहित कई आरोप लगाए गए थे। जिसके बाद अडानी ग्रुप के शेयरों में भारी गिरावट आई। लेकिन, अडानी ग्रुप ने हिंडनबर्ग की रिपोर्ट का खंडन किया था।
हिंडनबर्ग पिछले साल बाजार नियामक सिक्युरिटी एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (SEBI) की चेयरपर्सन माधबी पुरी बुच और उनके पति पर अदाणी से जुड़ी विदेशी कोष में हिस्सेदारी होने का आरोप लगा चुका है। अमेरिकी संसद की हाउस ज्यूडिशियरी कमेटी के एक सदस्य और रिपब्लिकन सांसद ने हाल ही में न्याय विभाग से अडानी और उनकी कंपनियों से जुड़ी जांच संबंधी सभी दस्तावेजों और कम्युनिकेशंस को संरक्षित करने का अनुरोध किया। हालांकि, हिंडनबर्ग को अचानक बंद करने के फैसले ने सबको चौंका दिया है।
हिंडनबर्ग रिसर्च का मकसद पूरा हुआ?
हिंडनबर्ग रिसर्च के फाउंडर नाथन एंडरसन ने शट डाउन के कारण का खुलासा नहीं किया है, लेकिन उन्होंने अपने बयान में इसका मकसद पूरा होने की ओर इशारा किया है। नाथन एंडरसन ने कहा, “मैंने हिंडनबर्ग रिसर्च को भंग करने का फैसला लिया है। मैंने इस बारे में पिछले साल के अंत से ही अपने परिवार, दोस्तों और टीम को बता दिया था। हमारी योजना थी कि हम जिन विचारों पर काम कर रहे थे, उनके पूरे होते ही हिंडनबर्ग रिसर्च बंद कर दिया जाएगा। और वह दिन आज ही है।”