लखनऊ। उत्तर प्रदेश के श्रम, सेवायोजन और समन्वय विभाग मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) ने मंगलवार को योगी कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया था। उन्होंने कहा कि मैं 14 जनवरी को समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) में शामिल होऊंगा। मेरे पास बीजेपी (BJP) के किसी छोटे या बड़े राजनेता का फोन नहीं आया है। उन्होंने कहा कि अगर वे समय पर सतर्क होते और सार्वजनिक मुद्दों पर काम करते, तो भाजपा (BJP) को इसका सामना नहीं करना पड़ता।
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बता दें कि बीते विधानसभा चुनाव से ठीक पहले वह मायावती का साथ छोड़कर बीजेपी (BJP) में शामिल हुए थे। मंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद स्वामी प्रसाद मौर्य के तेवर गर्म दिखे। इसके साथ ही उन्होंने बीजेपी पर हमला भी शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश की राजनीति स्वामी प्रसाद मौर्य के चारों तरफ घूमती है, जिन नेताओं को घमंड था कि वो बहुत बड़े तोप हैं उस तोप को मैं 2022 के चुनाव में ऐसा दागूंगा, ऐसा दागूंगा कि उस तोप से भारतीय जनता पार्टी के नेता ही स्वाहा हो जाएंगे। जानकारी के मुताबिक मौर्य अपने बेटे और कुछ चुनिंदा कार्यकर्ताओं के लिए बीजेपी का टिकट चाहते थे, जिस पर बात नहीं बनने से उन्होंने नाराज होकर पार्टी छोड़ दी है।
उनका इस्तीफा लेकर बीजेपी एमएलए रोशन लाल राजभवन पहुंचे। बीजेपी छोड़ने के बाद उन्होंने ऐलान किया कि चुनाव लड़ने वाले साथियों का नाम दो दिन में जारी करूंगा। स्वामी प्रसाद मौर्य के साथ बांदा के तिंदवारी सीट से बीजेपी के विधायक बृजेश प्रजापति ने भी इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि पांच सालों तक सीएम और प्रदेश अध्यक्ष से शिकायत करते रहे, लेकिन किसी ने नहीं सुनी।