Kartik Purnima 2024 : कार्तिक पूर्णिमा को राधा और कृष्ण का विशेष पूजन किया जाता है। कार्तिक पूर्णिमा को राधा जी की शुभ प्रतिमा का दर्शन और वंदन करना चाहिए। मान्यता है कि कार्तिक पूर्णिमा के दिन तुलसी के नीचे राधा-कृष्ण की मूर्ति रखकर उनकी पूजा करने से मनुष्य जीवन मुक्त हो जाता है। इस साल 15 नवंबर 2024 को कार्तिक पूर्णिमा है।
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श्री हरि को तुलसी पत्र अर्पण
इस दिन बैकुण्ठ के स्वामी श्री हरि को तुलसी पत्र अर्पण किया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, कार्तिक पूर्णिमा को गोलोक के रास मंडल में श्री कृष्ण ने श्री राधा का पूजन किया था। हमारे तथा अन्य सभी ब्रह्मांडों से परे जो सर्वोच्च गोलोक है वहां इस दिन राधा उत्सव मनाया जाता है तथा रासमण्डल का आयोजन होता है।
देवी तुलसी का मंगलमय प्राकाट्य
कार्तिक पूर्णिमा को श्री हरि के वैकुण्ठ धाम में देवी तुलसी का मंगलमय प्राकट्य हुआ था। कार्तिक पूर्णिमा को श्री तुलसी महारानी पृथ्वी पर प्रकट हुई थी।
दान, जप, तप आदि धार्मिक कार्यों का विशेष महत्व
कार्तिक पूर्णिमा को देव दीपावली के नाम से भी जाना जाता है। इस दिन पवित्र नदियों में स्नान और दीपदान करने की परंपरा है। साथ ही हवन, दान, जप, तप आदि धार्मिक कार्यों का विशेष महत्व बताया गया है। विष्णु पुराण के अनुसार, इस दिन भगवान नारायण ने मत्स्यावतार लिया था।
सत्यनारायण भगवान की पूजा
इस दिन व्रत रखकर सत्यनारायण भगवान की पूजा की जाती है और कथा सुनी जाती है।