Ajmer Sharif Controversy : यूपी के संभल की जामा मस्जिद को लेकर मचे बवाल के बीच अब राजस्थान के अजमेर शरीफ दरगाह को लेकर नया विवाद खड़ा हो गया है। हिंदू सेना के विष्णु गुप्ता ने अजमेर में ख्वाजा मुईनुद्दीन चिश्ती की दरगाह को हिंदू पूजा स्थल होने की याचिका कोर्ट में दायर की थी। जिसको निचली अदालत ने स्वीकार करते हुए सभी पक्षकारों को नोटिस जारी कर 20 दिसंबर को अगली सुनवाई की तारीख तय की है। वहीं, सपा के राज्यसभा सांसद रामगोपाल यादव ने इस मामले को लेकर जजों पर विवादित टिप्पणी की है।
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अजमेर शरीफ दरगाह विवाद पर सपा नेता राम गोपाल यादव ने एक न्यूज एजेंसी से बातचीत में प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, “ऐसा है मैंने पहले भी कहा था, इस तरह के छोटे-छोटे जज बैठे हैं जो इस देश में आग लगवाना चाहते हैं। कोई मतलब नहीं है इसका। अजमेर शरीफ पर हमारे प्रधानमंत्री स्वयं चादर भिजवाते हैं। देश दुनिया से लोग वहां आते हैं। उसको विवादों में डालना बहुत ही घृणित और ओछी मानसिकता का प्रतीक है। सत्ता में बने रहने के लिए बीजेपी समर्थित लोग कुछ भी कर सकते हैं, देश में आग लग जाए इससे इन्हें कोई मतलब नहीं है। सत्ता में बने रहें बस।”
यूपी उपचुनाव को लेकर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के आरोपों पर उन्होंने आगे कहा, “कोई डेमोक्रेसी बची नहीं भाई। मनमाने तरीके से डंडे के बल पर, गोली के बल पर लोगों को वोट न डालने दिया जाये। ये संभल, मिर्जापुर में गुंडई की थी, पुलिस के बल पर चुनाव जीतने के लिए। उस पर चर्चा न हो, उससे लोगों का ध्यान हटाने के लिए इन्होंने ये करवा दिया संभल का।” उन्होंने कहा कि कोई सांसद या डेलीगेशन संभल जाएगा तो पता चलेगा कि कितनी गड़बड़ी की है वहां के प्रशासन ने।