नई दिल्ली। केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल (Union Commerce and Industry Minister Piyush Goyal) ने शनिवार को घोषणा की कि सरकार विशेष आर्थिक क्षेत्रों में उत्पादन बढ़ाने के उद्देश्य से राहत उपायों को लागू करने के प्रस्तावों की जांच कर रही है। आंध्र प्रदेश एसईजेड में ब्रांडिक्स टेक्सटाइल इकाइयों के दौरे के दौरान बोलते हुए गोयल ने कहा कि मंत्रालय भारत के घरेलू बाजार में उपयोग के लिए इन क्षेत्रों में अतिरिक्त क्षमता को बढ़ावा देने के तरीकों की खोज कर रहा है।
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केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने बताया कि यह आयात प्रतिस्थापन के रूप में भी काम करेगा, क्योंकि अन्य देशों से भारत में आने वाले कई सामान वर्तमान में घरेलू टैरिफ क्षेत्रों में एसईजेड आपूर्ति की तुलना में बेहतर लाभ प्राप्त करते हैं। हम इस अंतर को पाटने की कोशिश कर रहे हैं और हमें उम्मीद है कि सभी एसईजेड से उत्पादन में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। सीआईआई पार्टनरशिप समिट 2025 (CII Partnership Summit 2025) में भाग लेने अनकापल्ली आए मंत्री ने कहा कि देश भर के एसईजेड आयुक्तों को अगले सप्ताह एक बैठक आयोजित करने का निर्देश दिया गया है। वे ब्रांडिक्स पार्क और आंध्र प्रदेश मेडटेक ज़ोन का दौरा करेंगे और बुनियादी ढांचे के मानकों का अध्ययन करेंगे जिससे सभी एसईजेड को विश्वस्तरीय सुविधाएं प्रदान की जा सकेंगी। यह पूछे जाने पर कि क्या वाणिज्य मंत्रालय इन ज़ोन को राहत देने के लिए संसद में कानून पेश करेगा। मंत्री गोयल ने कहा कि सरकार सभी संभावनाओं पर विचार कर रही है, जिसमें यह भी शामिल है कि क्या बदलावों के लिए मौजूदा कानूनों में संशोधन की आवश्यकता है या नियमों के माध्यम से लागू किया जा सकता है। एसईजेड को घरेलू टैरिफ क्षेत्र में शुल्क-त्याग के आधार पर उत्पाद बेचने की अनुमति देने के प्रस्तावों के बारे में, मंत्री ने पुष्टि की कि सभी प्रस्ताव विचाराधीन हैं। उन्होंने कहा कि हम एसईजेड और डीटीए इकाइयों, दोनों के हित में अंतर-मंत्रालयी परामर्श के आधार पर जो भी सर्वोत्तम होगा। मंत्री की यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब उद्योग प्रतिनिधि एसईजेड-निर्मित उत्पादों को बेचने की अनुमति मांग रहे हैं।