Tulsi plant : सनातन धर्म में तुलसी को बहुत पवित्र माना जाता है। शास्त्रों के अनुसार, तुलसी का पौधा भविष्य का संकेत देता है। तुलसी का औषधीय उपयोग किया जाता है। तुलसी में रोग नाशक शक्ति पायी जाती है। वास्तु दोष को समाप्त करने में यह पवित्र पौधा मदद करता है। वास्तु शास्त्र के मुताबिक तुलसी को कभी भी दक्षिण दिशा में नहीं लगाना चाहिए। क्योंकि इस दिशा में तुलसी का पौधा लगाने से आर्थिक स्थिति खराब होती है। इसे हमेशा पूरब, उत्तर या पूर्व-उत्तर में लगाना चाहिए।
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प्रत्येक वर्ष कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष की द्वादशी तिथि के दिन प्रदोष काल यानी सांयकाल में विधि विधान से तुलसी विवाह (tulsi vivah)करवाना हिंदू धर्म में काफी शुभ माना गया है।
तुलसी श्रीर्महालक्ष्मीर्विद्याविद्या यशस्विनी,
धर्म्या धर्मानना देवी देवीदेवमन: प्रिया।
लभते सुतरां भक्तिमन्ते विष्णुपदं लभेत्,
तुलसी भूर्महालक्ष्मी: पद्मिनी श्रीर्हरप्रिया।
तुलसी के पास न लगाएं ये पौधे
1.तुलसी के आसपास कांटेदार पौधे नहीं होने चाहिए। तुलसी पौधे के पास कांटेदार पौधा होने से घर पर दुर्भाग्य और नकारात्मकता तेजी से बढ़ती है।
2.जिस गमले में तुलसी का पौधा लगा हो, उसमें कोई दूसरा पौधा नहीं लगाएं।
3.तुलसी के पौधे को छत पर नहीं रखना चाहिए। हमेशा घर के आंगन या फिर बालकनी में ही रखना चाहिए।
4. पीपल को तुलसी के आसपास या फिर घर पर न लगाएं। घर पर पीपल लगाने से धन हानि होती है।
5.मदार के पौधे को भी तुलसी के आसपास नहीं लगाना चाहिए। वास्तु के अनुसार यदि आप इसे घर पर लगाते हैं तो इससे नकारात्मक ऊर्जा बहुत तेजी से बढ़ती है।