बरेली। योगी सरकार (Yogi Government) बरेली हाईवे अधिग्रहण घोटाले (Bareilly Highway Acquisition Scam) में बड़ी कार्रवाई कर सकती है। इस मामले में 18 और अधिकारियों और कर्मचारियों के निलंबन और अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए फाइल आगे बढ़ा दी गई है। इनमें चार तत्कालीन सक्षम प्राधिकारी, भूमि अध्याप्ति भी शामिल हैं।
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बता दें कि बरेली-पीलीभीत-सितारगंज हाईवे (Bareilly-Pilibhit-Sitaganj Highway) और बरेली रिंग रोड (Bareilly Ring Road) में जमीन अधिग्रहण में अभी तक 200 करोड़ रुपये से ज्यादा का घोटाला सामने आ चुका है। एनएचएआई (NHI) और पीडब्ल्यूडी (PWD) के 7 अधिकारी और कर्मचारी निलंबित किए जा चुके हैं। बरेली के स्थानीय प्रशासन ने 27 मार्च 2018 से नवंबर 2023 तक कार्यरत रहे सक्षम प्राधिकारी, भूमि अध्याप्ति सुल्तान अशरफ सिद्दीकी, भरत कुमार, राजीव पांडेय और आशीष कुमार के भी निलंबन की संस्तुति की है। तहसील सदर के लेखपाल उमाशंकर, नवाबगंज के लेखपाल सुरेश सक्सेना और एसएलएओ दफ्तर के अमीन डबर सिंह पर भी कड़ी कार्रवाई की संस्तुति की गई है।
इसके अलावा एक पूरक रिपोर्ट में लेखपाल आशीष कुमार, मुकेश कुमार, विनय, दिनेश चंद्र, विशेष भूमि अध्याप्ति कार्यालय के तत्कालीन अमीन अनुज वर्मा, ग्राम विलहरा माफी व मुडलिया गोसू के क्षेत्रीय लेखपाल मुकेश गंगवार, हेमंतडांडी के क्षेत्रीय लेखपाल तेजपाल, ग्राम भैंसहा के क्षेत्रीय लेखपाल ज्ञानदीप गंगवार, उगनपुर के क्षेत्रीय लेखपाल मुकेश कुमार मिश्रा, अमरिया के क्षेत्रीय लेखपाल विनय कुमार व दिनेश चंद्र और ग्राम हुसैन नगर एवं सरदार नगर के क्षेत्रीय लेखपाल आलोक कुमार को भी गड़बड़ियों के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है। शासन के सूत्रों के मुताबिक, इन सभी अधिकारियों और कर्मचारियों के निलंबन और आगे की कार्रवाई के लिए फाइल प्रक्रिया में है। शीघ्र ही आदेश जारी कर दिया जाएगा।