एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन औवेसी ने ट्वीटर पर दो वीडियो शेयर करके अपनी प्रतिक्रिया दी है। औवैसी ने जूनागढ़ गुजरात और बुलंदशहर में मुस्लिम पुरुषों की कथित पिटाई की घटनाओं पर अपनी प्रतिक्रिया दी है।
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हम पर ही ज़ुल्म होगा हम ही ज़ालिम कहलाएंगे।
हम को ही मारा जाएगा और हम पर ही मुक़दमे चलाए जाएंगे।भारत में हिन्दुत्व इंतिहा-पसंदी उरुज पर है, शर्पसंद हिंदुत्ववादियों के शर-पसंदी की कुछ चिंगारी पुलिस विभाग तक पहुंच चुकी है।
उसका जीता जागता मिसाल आजकी 2 ख़बर की सुर्खियां हैं। pic.twitter.com/raaW4NdRDF
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) June 17, 2023
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जो दो लोग पीट रही है उनके मुंह पर कपड़ा बंधा हुआ
औवैसी ने एक वीडियो शेयर किया है जिसमें से पहले वीडियो में जूनागढ़ दरगाह के बाहर लाईन से खड़ा करके कई लोगो को पिटाई करते हुए एक व्यक्ति नजर आ रहा है।
वीडियो में साफ देखा जा सकता है लाइन में खड़े लोगो को जो दो लोग पीट रही है उनके मुंह पर कपड़ा बंधा हुआ है। एक के बाद एक वह लोगो को पीट रहा है। हालंकि रिपोर्ट में इस वीडियो की को पुष्टि नहीं की गई है। इस वीडियो पर असदुद्दीन औवेसी ने अपने ट्टीट में लिखा है कि-
“हम पर ही ज़ुल्म होगा हम ही ज़ालिम कहलाएंगे।हम को ही मारा जाएगा और हम पर ही मुक़दमे चलाए जाएंगे।भारत में हिन्दुत्व इंतिहा-पसंदी उरुज पर है, शर्पसंद हिंदुत्ववादियों के शर-पसंदी की कुछ चिंगारी पुलिस विभाग तक पहुंच चुकी है।उसका जीता जागता मिसाल आजकी 2 ख़बर की सुर्खियां हैं।”
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दूसरी ख़बर: बुलंदशहर में एक दिहाड़ी मज़दूर को एक दरख़्त से बांध कर पीटा गया और JSR के नारे लगाने पर मजबूर किया गया।बाद में पुलिस की हमदर्दी तो देखिए मुजरिमों के खिलाफ़ कार्रवाई करने के बजाय साहिल को ही जेल भेज दिया।
अपने ऊपर हो रहे ज़ुल्म के खिलाफ़ फरयाद लेकर जाए तो कहां जाए? pic.twitter.com/T7iPckN6is
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) June 17, 2023
पहली ख़बर:
गुजरात के जूनागढ़ में दरगाह को तोड़ने का मुस्लिम युवकों ने विरोध किया तो जनता का रक्षक कहे जाने वाली पुलिस, मुस्लिम युवकों को उसी दरगाह के सामने अपने पट्टे से सबके सामने पीट रही है।दूसरी ख़बर: बुलंदशहर में एक दिहाड़ी मज़दूर को एक दरख़्त से बांध कर पीटा गया और JSR के नारे लगाने पर मजबूर किया गया।बाद में पुलिस की हमदर्दी तो देखिए मुजरिमों के खिलाफ़ कार्रवाई करने के बजाय साहिल को ही जेल भेज दिया। अपने ऊपर हो रहे ज़ुल्म के खिलाफ़ फरयाद लेकर जाए तो कहां जाए?
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