New Parliament Building: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) कल यानी 28 मई को नई संसद भवन का उद्घाटन करेंगे। नए संसद भवन के उद्घाटन से पहले सियासी वार पलटवार का दौर तेजी से चल रहा है। कांग्रेस समेत कई विपक्षी दलों ने इस उद्घाटन समारोह से खुद को दूर कर लिया है। इसके साथ ही वो नए संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति से कराए जाने की मांग कर रहे हैं। कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दलों के विरोध के बीच गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) का बयान आया है। उन्होंने कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दलों पर निशाना साधा है।
पढ़ें :- BJP आदिवासी मुख्यमंत्री को हटाकर और सत्ता आना चाहती है, ताकि जल,जंगल, जमीन लूटकर अमीरों को बांट सके : मल्लिकार्जुन खरगे
गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कहा, मुझे समझ में नहीं आता है कि आखिर क्यों विपक्षी पार्टियां चिल्ला रही हैं, जबकि उनको तो खुश होना चाहिए कि देश को नई संसद मिल रही है। उन्होंने कहा कि अगर मैं दिल्ली में होता तो नए संसद भवन के उद्घाटन में जरूर शामिल होता। विपक्ष को रिकॉर्ड समय में नई संसद बनाने के लिए सरकार की प्रशंसा करनी चाहिए, जबकि वे सरकार की आलोचना कर रहे हैं। मैं विपक्ष द्वारा इसका बहिष्कार करने के सख्त खिलाफ हूं।
मैंने 35 साल पहले देखा था सपना
गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) का कहना है कि उन्होंने बहुत पहले ही नई संसद भवन का सपना देखा था। जब वह नरसिम्हा राव की सरकार में केंद्रीय संसदीय मंत्री थे तब उन्होंने नई संसद के निर्माण का सपना देखा था। उन्होंने कहा, मैंने तात्कालीन प्रधानमंत्री नरसिम्हा राव से नई संसद बनाने के बारे में चर्चा की थी, बल्कि एक नक्शा भी बनाया था लेकिन हम तब बना नहीं पाए थे। उन्होंने कहा देश की आजादी के बाद, देश की आबादी 5 गुना अधिक बढ़ गई है, उसी हिसाब से प्रतिनिधियों की संख्या भी बढ़ी है। गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कहा, इसलिए नई संसद भवन बननी ही बननी थी।
राष्ट्रपति के खिलाफ क्यों खड़ा किया प्रत्याशी
इस दौरान गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने विपक्ष पर जमकर निशाना साध। उन्होंने कहा कि अगर राष्ट्रपति से इतना ही प्रेम था तो उसने उनके खिलाफ कैंडिडेट क्यों खड़ा किया था। साथ ही कहा कि, विपक्ष के पास मुद्दों की कमी नहीं है वह गलत मुद्दे उठा रहा है।