Repo rate cut by 0.25%: आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा ने आज फिस्कल ईयर 2026 की पहली मॉनेटरी पॉलिसी की समीक्षा के नतीजों का ऐलान किया है। जिसमें रेपो रेट में 0.25% की कटौती की गयी है। इस फैसले के बाद अब लोन सस्ते हो जाएंगे। संजय मल्होत्रा ने कहा, “मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) ने सर्वसम्मति से नीतिगत रेपो दर को तत्काल प्रभाव से 25 आधार अंकों से घटाकर 6% करने के लिए मतदान किया।”
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आरसीबीआई ने इस साल रेपो रेट में यह लगातार दूसरी कमी है। इससे पहले आरसीबीआई ने फरवरी की अपनी मॉनेटरी पॉलिसी में रेपो रेट में 25 बेसिस प्वाइंट्स कमी का ऐलान किया था। इस साल अब तक आरबीआई रेपो रेट में 0.50 फीसदी की कटौती कर चुका है और यह 6.50 फीसदी से घटकर 6 फीसदी पर आ गई है।
आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा ने कहा, ‘जनवरी-फरवरी 2025 के दौरान मुख्य मुद्रास्फीति में कमी आई। खाद्य मुद्रास्फीति में तीव्र सुधार के बाद, खाद्य मुद्रास्फीति का दृष्टिकोण निर्णायक रूप से सकारात्मक हो गया है…वित्त वर्ष 2025-26 के लिए सीपीआई मुद्रास्फीति 4 प्रतिशत रहने का अनुमान है, जिसमें पहली तिमाही 3.6 प्रतिशत, दूसरी तिमाही 3.9 प्रतिशत, तीसरी तिमाही 3.8 प्रतिशत और चौथी तिमाही थोड़ी अधिक 4.4 प्रतिशत रहेगी।’
आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा ने मौजूदा वित्त वर्ष 2026 में महंगाई दर के घटकर 4% रहने का अनुमान जताया है। उन्होंने कहा कि महंगाई दर पहली तिमाही में 3.6 फीसदी, दूसरी तिमाही में 3.9 फीसदी, तीसरी तिमाही में 3.8 फीसदी और चौथी तिमाही में 4.4 फीसदी रह सकती है। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि उन्हें 4% के महंगाई दर लक्ष्य हासिल करने का भरोसा है। ग्रोथ को बढ़ावा देने पर फोकस बना रहेगा। MPC ने पॉलिसी के रुख में बदलाव किया है। पॉलिसी पर रुख न्यूट्रल से अकोमोडेटिव किया गया है।