Supreme Court on firecrackers: सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में आज मंगलवार को देश में पटाखों की बिक्री, खरीद और उपयोग पर प्रतिबंध लगाने की मांग वाली याचिकाओं पर सुनवाई हुई। इस दौरान कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि पर्यावरण की चिंता (Environmental Concern) करना केवल कोर्ट का काम नहीं हैं। जस्टिस सुंदरेश ने कहा कि यह गलत धारणा है कि पर्यावरण की चिन्ता केवल कोर्ट को होनी चाहिए। बच्चे ही क्रैकर्स नहीं जलाते, आजकल तो बड़े लोग भी पटाखा जलाते हैं।
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इस दौरान सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने विशेष रूप से दीपावली पर पटाखों को जलाने पर रोक लगाने को लेकर कोई आदेश पारित करने से इनकार कर दिया। कोर्ट ने कहा कि कहा कि दीपावली पर पटाखे जलाने पर प्रतिबंध लगाने को हम कोई निर्धारित आदेश नहीं जारी कर रहे हैं। हमारे पिछले आदेशों का सभी राज्य सरकारें अनुपालन करें. राजस्थान से संबंधित इस आवेदन का कोर्ट ने लंबित रखा है। बढ़ते वायु प्रदूषण के कारण राजस्थान के उदयपुर में दिवाली पर पटाखे फोड़ने पर रोक लगाने के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई थी।
हालांकि, कोर्ट ने यह भी कहा कि पटाखों के इस्तेमाल पर प्रतिबंध केवल त्योहारों के दौरान ही नहीं बल्कि पूरे साल भर लगाया जाना चाहिए। हम राज्यों को उचित कदम उठाने का निर्देश दे सकते हैं। बता दें कि कोर्ट ने पहले त्योहारों और विशेष अवसरों पर पटाखे फोड़ने के लिए विशिष्ट समय और प्रकार के दिशानिर्देश दिए थे।