नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Union Home Minister Amit Shah) ने हाल ही में सभी राज्य के मुख्यमंत्रियों से अपील की है कि वे अपने-अपने राज्यों में पाकिस्तान के नागरिकों की पहचान करें और उन्हें तत्काल पाकिस्तान भेजने के लिए जरूरी कदम उठाएं। सूत्रों के मुताबिक, गृह मंत्रालय ( Home Ministry) द्वारा यह निर्देश सभी राज्य सरकारों को भेजा गया है ताकि पाकिस्तान के नागरिकों की उपस्थिति को रोकने के लिए त्वरित कार्रवाई की जा सके।
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पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ कड़ा एक्शन लिया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) की अध्यक्षता में चली सीसीएस बैठक में पाकिस्तान के खिलाफ पांच बड़े फैसले लिए गए हैं। एक फैसले में भारत सरकार ने पाकिस्तानी नागरिकों को जारी किए जाने वाले वीजा पर रोक लगा दी है। इसके साथ ही सार्क वीजा छूट योजना (SVES) को भी तत्काल प्रभाव से बंद कर दिया है। SVES वीजा के तहत भारत की यात्रा करने वाले वीजाधारकों को 48 घंटे के अंदर भारत छोड़ने का अल्टीमेटम दिया गया है। इसके अलावा अन्य वीजा धारक 1 मई तक पाकिस्तान लौट सकते हैं।
भारत सरकार अब पाकिस्तानी नागरिकों को वीजा जारी नहीं करेगी। इसका असर उन पाकिस्तानी मरीजों पर पड़ेगा, जो बड़ी संख्या में भारत इलाज के लिए आते हैं। बीते कुछ सालों में भारत बड़े मेडिकल डेस्टिनेशन के रूप में उभरा है और कई देशों के लोग भारत इलाज के लिए आते हैं, जिसमें पाकिस्तान भी शामिल है। एक आंकड़े के मुताबिक 2015-16 में भारत ने 54 देशों के करीब दो लाख नागरिकों को मेडिकल वीजा उपलब्ध कराए थे। इसमें बड़ी संख्या पाकिस्तानी भी शामिल थे।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 2015-16 में हर महीने करीब 166 पाकिस्तानी नागरिक (Pakistani Citizens) इलाज के लिए भारत की यात्रा करते थे। हालांकि, 2017 में मेडिकल वीजा के नियम कड़े कर दिए गए थे। अब भारत पाकिस्तानी नागरिकों को वीजा जारी नहीं करेगा। इस फैसले से पाकिस्तानी मरीजों को भी झटका लग सकता है, जो पहले से भारत में इलाज करा रहे हैं।
सूत्रों के अनुसार, केंद्रीय गृह मंत्री (Union Home Minister) ने सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से अनुरोध किया है कि वे अपनी राज्य पुलिस और अन्य संबंधित एजेंसियों के माध्यम से पाकिस्तान के नागरिकों की पहचान करें और उनकी वापसी के लिए आवश्यक कदम उठाए।