Beautiful Tungnath Temple: अगर परिवार के साथ गर्मियों में घूमने का प्लान बना रहे है तो आपके लिए तुंगनाथ का प्रसिद्ध मंदिर बेहतरी ऑप्शन हो सकता है। तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) उत्तराखंड के गढ़वाल के रुदप्रयाग जिले में ऊंचे पर्वत पर है।
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तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) शिव के पंच केदारों में से एक है। यह प्रसिद्ध मंदिर चारों तरफ बर्फ से ढका हुआ है। यहां की मान्यता है कि तुंगनाथ मंदिर को पांडवों ने भगवान भोलेनाथ को खुश करने के लिए बनवाया था। कहा जाता है कि कुरुक्षेत्र में हुए नरसंहार को लेकर शिव जी पांडवों ले नाराज थे।
इसलिए उन्हें प्रसन्न करने के लिए इस खूबसूरत और बेहतरीन स्थान पर महादेव का मंदिर बनवाया था। स्थानीय लोगों का मानना है कि माता पार्वती ने शिव को पाने के लिए इसी स्थान पर तपस्या की थी। इसी मंदिर से जुड़ी एक कहानी ये भी है कि भगवान राम ने रावण के वध के बाद स्वंय को ब्रह्महत्या के श्राप से मुक्त करने के लिए यहां तप किया था। इस लिए इस जगह को चंद्रशिला भी कहा जाता है।
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तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) के लिए सबसे अच्छा महिना जुलाई से अगस्त का होता है
दिसंबर माह से यहां बर्फबारी होने लगती है।मंदिर बर्फ से ढक जाता है। जबकि तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) जाने के लिए सबसे अच्छा महिना जुलाई से अगस्त का होता है।
ऐसे पहुंचे तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple)
तुंगनाथ मंदिर पहुंचने के लिए आप उखीमठ के रास्ते जा सकते हैं।जहां सड़क मार्ग के द्वारा मंदाकिनी घाटी में पहुंचना होगा। आगे बढ़ने पर अगस्त्य मुनि नाम का छोटा सा कस्बा मिलेगा। जहां से हिमालय की नंदाखाट चोटी देखने को मिलती है। इसके अलावा चोपता से तुंगनाथ मंदिंर (Tungnath Temple) की दूरी सिर्फ तीन किलोमीटर है। बस से चोपता पहुंचकर तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) तक पैदल जाया जा सकता है।
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