Advertisement
  1. हिन्दी समाचार
  2. तकनीक
  3. Aditya-L1 Mission: सूर्य का रहस्य जानने की ओर भारत का एक बड़ा कदम, ISRO इस दिन भेजेगा पहला सोलर मिशन

Aditya-L1 Mission: सूर्य का रहस्य जानने की ओर भारत का एक बड़ा कदम, ISRO इस दिन भेजेगा पहला सोलर मिशन

By Abhimanyu 
Updated Date

Aditya-L1 Mission: चंद्रयान-3 मिशन की लॉन्चिंग के बाद भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानी इसरो अपने एक और बड़े मिशन को भेजने की तैयारी में है। इसरो ने सोमवार को कहा कि सूर्य का अध्ययन करने वाली पहली अंतरिक्ष आधारित भारतीय वेधशाला आदित्य-एल-1 (Aditya-L1 Mission) जल्द ही अपने लॉन्चिंग के लिए तैयार हो रही है।

पढ़ें :- ISRO New Chief: वी नारायणन होंगे नए इसरो चीफ, 14 जनवरी को एस सोमनाथ की लेंगे जगह

इस अभियान (Aditya-L1 Mission) को लेकर राष्ट्रीय अंतरिक्ष एजेंसी (ISRO) ने बताया है कि यहां यू. आर. राव उपग्रह केंद्र में निर्मित उपग्रह आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा में इसरो के अंतरिक्ष केंद्र पर पहुंच गया है। लॉन्चिंग की तारीख इसरो के एक अधिकारी ने पीटीआई-भाषा से कहा कि लॉन्चिंग सितंबर के पहले सप्ताह में होने की संभावना है।

अंतरिक्ष यान (Aditya-L1 Mission) को पृथ्वी से लगभग 15 लाख किलोमीटर दूर सूर्य-पृथ्वी प्रणाली के लैग्रेंज बिंदु 1 (एल-1) के चारों ओर एक प्रभामंडल कक्षा में रखे जाने की उम्मीद है। अंतरिक्ष में स्थित ‘लैग्रेंज बिंदु’ पर सूर्य और पृथ्वी जैसे दो अंतरिक्ष निकायों के गुरुत्वाकर्षण बल के कारण आकर्षण और प्रतिकर्षण का क्षेत्र उत्पन्न होता है।

इसरो ने कहा, ‘एल-1 बिंदु के आसपास ‘हेलो’ कक्षा में रखे गए उपग्रह से सूर्य को बिना किसी छाया/ग्रहण के लगातार देखने फायदेमंद हो सकता है। इससे वास्तविक समय में सौर गतिविधियों और अंतरिक्ष मौसम पर इसके प्रभाव को देखने का अधिक लाभ मिलेगा।’

इस आदित्य-एल-1 में सात पेलोड हैं। इसरो ने कहा, ‘आदित्य एल-1 पेलोड से कोरोना की उष्मा, कोरोना से विशाल पैमाने पर निकलने वाली ऊर्जा, उसकी रोशनी की गतिविधियों और विशेषताओं, अंतरिक्ष मौसम की गतिशीलता, कण और क्षेत्रों के प्रसार आदि की समस्या को समझने में बेहद अहम जानकारी मिलने की उम्मीद है।’

पढ़ें :- ISRO ने स्पेडेक्स मिशन की डॉकिंग टाली, अब इस तारीख को होगा परीक्षण

 

Advertisement