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‘पहले हरिओम वाल्मीकि की हत्या, फिर CJI का अपमान और वरिष्ठ अधिकारी की आत्महत्या…भाजपा राज दलितों के लिए अभिशाप बन गया: प्रियंका गांधी

By Abhimanyu 
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IPS officer Y Puran Kumar suicide case: हरियाणा के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वाई पूरन कुमार की आत्महत्या मामले में सियासत गरमाने लगी है। आईपीएस अधिकारी ने अपने के सुसाइड नोट में आरोप लगाया है कि वरिष्ठ अधिकारियों ने उन्हें मानसिक प्रताड़ना, जातिगत भेदभाव और उत्पीड़न का शिकार बनाया, जिससे वे मानसिक रूप से टूट गए और यह दुखद कदम उठा रहे हैं। अब इस मामले को लेकर कांग्रेस के नेता भाजपा पर निशाना साध रहे हैं। इसी कड़ी में वायनाड से कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा है कि भाजपा राज दलितों के लिए अभिशाप बन गया है।

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प्रियंका गांधी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “जातीय प्रताड़ना से परेशान होकर हरियाणा के IPS अधिकारी वाई पूरन कुमार जी की आत्महत्या से पूरा देश स्तब्ध है। देश भर में दलितों के खिलाफ जिस तरह अन्याय,अत्याचार और हिंसा का सिलसिला चल रहा है, वह भयावह है।” उन्होंने आगे लिखा, “पहले रायबरेली में हरिओम वाल्मीकि जी की हत्या, फिर मुख्य न्यायाधीश का अपमान और अब एक वरिष्ठ अधिकारी की आत्महत्या यह साबित करती है कि भाजपा राज दलितों के लिए अभिशाप बन गया है। चाहे कोई आम नागरिक हो या ऊंचे पद पर हो, अगर वह दलित समाज से है तो अन्याय और अमानवीयता उसका पीछा नहीं छोड़ते। जब ऊंचे ओहदे पर बैठे दलितों का यह हाल है तो सोचिए आम दलित समाज किन हालात में जी रहा होगा।”

इससे पहले राहुल गांधी ने गुरुवार को लिखा, “हरियाणा के IPS अधिकारी वाई पूरन कुमार जी की आत्महत्या उस गहराते सामाजिक ज़हर का प्रतीक है, जो जाति के नाम पर इंसानियत को कुचल रहा है। जब एक IPS अधिकारी को उसकी जाति के कारण अपमान और अत्याचार सहने पड़ें – तो सोचिए, आम दलित नागरिक किन हालात में जी रहा होगा।” उन्होंने कहा, “रायबरेली में हरिओम वाल्मीकि की हत्या, सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश का अपमान और अब पूरन जी की मृत्यु – ये घटनाएँ बताती हैं कि वंचित वर्ग के ख़िलाफ़ अन्याय अपनी चरम सीमा पर है। BJP-RSS की नफ़रत और मनुवादी सोच ने समाज को विष से भर दिया है। दलित, आदिवासी, पिछड़े और मुस्लिम आज न्याय की उम्मीद खोते जा रहे हैं। ये संघर्ष केवल पूरन जी का नहीं – हर उस भारतीय का है जो संविधान, समानता और न्याय में विश्वास रखता है।”

बता दें कि वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वाई पूरन कुमार की आत्महत्या मामले में चंडीगढ़ पुलिस ने हरियाणा पुलिस के डीजीपी शत्रुजीत सिंह कपूर समेत उन 13 अधिकारी व पूर्व अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है, जिनके नाम सुसाइड नोट में लिखे गए थे। यह एफआईआर सेक्टर-11 पुलिस थाने में दर्ज की गई।

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