भोपाल: मध्यप्रदेश में खेल और युवा कल्याण के क्षेत्र में किए जा रहे अभिनव प्रयासों ने प्रदेश को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया है। खेलों के प्रति युवाओं का रुझान बढ़ाने और उनके समग्र विकास के लिए प्रदेश सरकार ने ‘फिट इंडिया क्लब’, ‘पार्थ योजना’, ‘खेलों बढ़ों अभियान’ और (एमपीवायपी) ‘मध्यप्रदेश युवा प्रेरक अभियान’ (Madhya Pradesh youth motivational campaign) जैसे महत्वपूर्ण नवाचारों की शुरुआत की है। इन योजनाओं के माध्यम से प्रदेश के खेल मैदानों, खिलाड़ियों और खेल गतिविधियों को नया आयाम मिला है।
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सहकारिता, खेल एवं युवा कल्याण मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने यह विचार तेलंगाना के हैदराबाद में आयोजित खेल चिंतन शिविर में साझा किए। मंत्री श्री सारंग ने मध्यप्रदेश में उपलब्ध खेल अधोसंरचनाओं की जानकारी देते हुए कहा कि प्रदेश में 18 खेलों के लिए 11 खेल अकादमियां स्थापित की गई हैं। प्रदेश सरकार का उद्देश्य युवाओं को खेलों से जोड़कर उन्हें राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धा के लिए तैयार करना है। इसके लिए मध्यप्रदेश में विश्वस्तरीय उच्च गुणवत्ता वाली खेल अधोसंरचना तैयार की गई है। इन 11 खेल अकादमियों में अंतर्राराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप प्रशिक्षण, अत्याधुनिक उपकरण और सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। उन्होंने कहा कि “मध्यप्रदेश को खेल हब के रूप में विकसित करने के लिए हम निरंतर प्रयासरत हैं। हमारा संकल्प है कि हर युवा को खेल के क्षेत्र में अपने सपने पूरे करने का अवसर मिले और वे देश-विदेश में अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन कर सकें।”
खेल भर्ती नीति को और मजबूत करने पर जोर
मंत्री श्री सारंग ने ‘खेल चिंतन शिविर’ के द्वितीय दिवस के तृतीय सत्र “वेलफेयर ऑफ स्पोर्टस पर्सन्स एंड कोचेस एंड स्पोर्टस रिक्रूटमेंट पॉलिसी” में केंद्रीय मंत्री डॉ. मंडाविया के साथ सहभागिता की। इस सत्र में खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों के कल्याण तथा खेल भर्ती नीति को और सुदृढ़ बनाने पर महत्वपूर्ण विचार-विमर्श हुआ। इस अवसर पर केंद्रीय राज्य मंत्री युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय श्रीमती रक्षा निखिल खडसे, खेल एवं युवा कल्याण मंत्री, मिजोरम श्री पु लालनघिंगलोवा हमार भी उपस्थित रहे।
भोपाल : मध्यप्रदेश से अक्षय की रिपोर्ट