पटना। बिहार में सियासी हलचल बढ़ती जा रही है। जेडीयू और आरजेडी का गठबंधन टूट गया है। इसको लेकर बस औपचारिक एलान बाकी है। कहा जा रहा है कि नीतीश कुमार जल्द ही मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर भाजपा के साथ सरकार बनायेंगे। वहीं, महागठबंधन की तरफ से सरकार बचाने की पूरी कोशिश शुरू हो गयी है। आरजेडी ने भी कुछ देर पहले बड़ी बैठक की और आगे की रणनीति तय की। इस बीच खबर आ रही है कि कांग्रेस भी एक्टिव हो गयी है। कांग्रेस छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को वरिष्ठ पर्यवेक्षक के रूप में बिहार भेजेगी, जहां वह जीतनराम मांझी से मुलाकात कर सकते हैं। उधर, जीतन राम मांझी भी अपने विधायकों के साथ बैठक शुरू कर दिए हैं।
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कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने शनिवार को कहा कि मल्लिकार्जुन खरगे ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बात करने की कई कोशिशें कीं, लेकिन दोनों बहुत व्यस्त थे इसलिए उनके बीच कोई बातचीत नहीं हो सकी। वहीं, मीडिया रिपोर्ट की माने तो इंडिया गठबंधन के कई नेताओं ने जीतन राम मांझी से बातचीत की है। कहा जा रहा है कि, जीतन राम मांझी को इंडिया गठबंधन के नेताओं की तरफ से बड़ा ऑफर दिया गया है।
बता दें कि, लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने अमित शाह से मुलाकात के बाद पत्रकारों से बातचीत की। उन्होंने कहा कि बिहार में जो चल रहा उसे जानना जरूरी है। इसी मुद्दे पर मैं आज अमित शाह और जेपी नड्डा से मिला। मैंने राज्य से जुड़ी अपनी चिंताओं को उनके सामने रखा। उन्होंने मुझे आश्वासन दिया है। गठबंधन पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि इसको लेकर स्थिति काफी सकारात्मक है। आने वाले दिनों में आप सभी को स्पष्ट हो जाएगा। हम आज भी एनडीए का हिस्सा ही हैं।