जंक फ़ूड यानी बर्गर, फ्रेंच फ्राइज़, चिप्स, भुजिया, चीज, टोमैटो सॉस और म्योनीज़ जितना ही इसका स्वाद अच्छा लगता है उतना ही ये हमारे सेहत के लिए हर्म्फ़ुल होता है। ये सब खाने से वेट तो बढ़ता ही है और ब्रेन पर बुरा असर डालता है। कनाडा की मैकगिल यूनिवर्सिटी में साइंटिस्ट्स ने पाया है कि इस तरह के फूड्स दिमाग में सूजन पैदा करते हैं जो धीरे धीरे हाइपरटेंशन की वजह बन जाती है। इसकी वजह है इनमें ज्यादा मात्रा में मौजूद नमक।
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वैसे अब तक तो यही माना जाता था कि हाई बीपी की शुरुआत किडनी और ब्लड वेसल्स की कमज़ोरी से होती है लेकिन कनाडा के इन वैज्ञानिकों का दावा है कि बीपी हाई होने का कारण ब्रेन डिसऑर्डर भी हो सकता है। ज़्यादा नमक खाने से दिमाग के इम्यून सेल्स ज़्यादा एक्टिव हो जाते हैं जिससे सूजन के साथ साथ वेसो-प्रेसिन हार्मोन ज़्यादा बनने लगता है। इसी हार्मोन के ज्यादा बनने से ब्लड सर्कुलेशन बिगड़ जाता है। इसलिए ज़रूरत है ज़ुबान के स्वाद पर लगाम लगाने की क्योंकि हमारे देश में तो पहले ही हाई बीपी के 20 करोड़ से ज़्यादा मरीज़ हैं।
हाई ब्लड प्रेशर के लक्षण और कारण
बढ़े हुए ब्लड प्रेशर के लक्षणों में सिरदर्द, सीने में दर्द, चिड़चिड़ापन, सांस लेने में तकलीफ, नसों में झनझनाहट और चक्कर आना शामिल हैं। इसके मुख्य कारणों में गलत खानपान, व्यायाम की कमी, शराब, धूम्रपान, तनाव और मोटापा शामिल हैं। बता दें, सामान्य ब्लड प्रेशर 120/80 mmHg होता है, जबकि 140/90 mmHg से अधिक होने पर इसे हाई ब्लड प्रेशर और 90/60 mmHg से कम होने पर इसे लो ब्लड प्रेशर माना जाता है।
हाई ब्लडप्रेशर से हो सकती हैं समस्याएं
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बढ़ा हुआ ब्लड प्रेशर आँखों के रेटिना को नुकसान पहुँचाकर नजर कमजोर कर सकता है, स्ट्रोक और याद्दाश्त में कमी का खतरा बढ़ा सकता है, साथ ही हार्ट अटैक, हार्ट फेलियर और किडनी डैमेज जैसी गंभीर समस्याओं का कारण भी बन सकता है।
ऐसे कंट्रोल होगा बीपी
स्वस्थ आहार, वजन को नियंत्रित करके, नमक का सेवन कम करके, रोज़ 30 मिनट कसरत करके, तनाव घटाकर, पर्याप्त पानी पीकर और शराब छोड़कर ब्लड प्रेशर को नियंत्रित किया जा सकता है। हाई ब्लड प्रेशर होने पर शीर्षासन, सर्वांगासन, दंड-बैठक और पावर योग जैसे आसन नहीं करने चाहिए
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