सहारनपुर। यूपी के सहारनपुर से हैरान करने वाला मामला सामने आया है। यहां के जिला जेल में राष्ट्रपति भवन के नाम से फर्जी लेटर भेजा गया है। पत्र में हत्या के आरोपी बंदी को तत्काल रिहा करने का आदेश दिया गया था। जेल अक्षीक्षक सत्य प्रकाश सिंह को पत्र संदिग्ध लगा और उन्होंने इसकी जांच शुरु कराई।
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मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जांच में पता चला कि राष्ट्रपति भवन की तरफ से ऐसा कोई आदेश नहीं जारी किया गया था। साथ ही पत्र में राष्ट्रीय विशेष अदालत का जिक्र था, जो राष्ट्रपति भवन में अस्तित्व में ही नहीं है।इसके बाद जेल अक्षीधक ने थाना जनकपुरी में अज्ञात के खिलाफ धोखाधड़ी और फर्जीवाड़े का मुकदमा दर्ज कराया।
इस घटना पर पुलिस ने बताया कि बंदी अजय को 24 दिसंबर 2024 को हत्या और साजिश के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। उसका मामला जिला एंव सत्र न्यायालय में लंबित है। पुलिस का मानना है कि यह पत्र बंदी अजय के किसी साथी या परीचित ने भेजा होगा।
फिलहाल पत्र की फॉरेंसिक जांच की जा रही है और जल्द ही पत्र भेजने वाले की पहचान की जाएगी। एसपी सिटी व्योम बिंदल ने बताया कि जेल अक्षीधक की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया गया है। पत्र में जिस राष्ट्रीय विशेष अदालत का जिक्र था, वह राष्ट्रपति भवन के अस्तित्व में ही नहीं है। पुलिस पत्र की फॉरेंसिक जांच कराकर जल्द ही साजिशकर्ता की पहचान करेगी।