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अब्बास अंसारी की विधानसभा सदस्यता खत्म, प्रमुख सचिव विधानसभा ने निर्वाचन आयोग को दी सूचना

By संतोष सिंह 
Updated Date

लखनऊ। दिवंगत माफिया मुख्तार अंसारी (Mafia Mukhtar Ansari) के बेटे अब्बास अंसारी (Abbas Ansari)  की विधासभा सदस्यता खत्म हो गई है। प्रमुख सचिव विधानसभा  प्रदीप दुबे (Principal Secretary Assembly Pradeep Dubey) के तरफ से रविवार को चुनाव आयोग (Election Commission)  को सीट खाली होने की सूचना भेज दी गई। हेट स्पीच केस में सजा के एलान के बाद यूपी के मऊ से सुभासपा विधायक अब्बास अंसारी (Abbas Ansari) की विधायकी खत्म हो गई है।

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विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना ने उनकी सीट को रिक्त घोषित कर दिया है। इसके लिए रविवार को छुट्टी के दिन सचिवालय खोला गया। चुनाव आयोग (Election Commission) को इसकी सूचना भेज दी गई है। अब इस विधानसभा सीट के उपचुनाव पर सबकी नजर है। इस घोषणा के साथ ही भारत निर्वाचन आयोग (Election Commission of India) की ओर से नियमानुसार खाली सीट को भरने के लिए छह माह के भीतर उपचुनाव कराया जाएगा।

बीते विधानसभा चुनाव के दौरान नफरती भाषण और चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन के मामले मे फैसला शनिवार को हुआ। सीजेएम डॉ. केपी सिंह ने मामले में पक्षकारों की बहस सुनने के बाद फैसला के लिए 31 मई की तिथि नियत की थी। सुनवाई के बाद अदालत ने आचार संहिता के उल्लंघन के मामले में अब्बास अंसारी (Abbas Ansari)  को दोषी करार देते हुए दो साल की सजा सुनाई गई। इसके साथ ही अलग अलग धाराओं के तहत कुल 11 का जुर्माना भी लगाया गया है।

अब्बास अंसारी (Abbas Ansari)  को जिस मामले में सजा सुनाई गई है, वह 2022 में हुए विधानसभा चुनाव का है। चुनाव प्रचार के दौरान एक रैली में अब्बास ने कहा था- सपा मुखिया अखिलेश यादव से कहकर आया हूं, सरकार बनने के बाद 6 महीने तक किसी की ट्रांसफर-पोस्टिंग नहीं होगी। जो जहां है, वहीं रहेगा। पहले हिसाब-किताब होगा, फिर ट्रांसफर होगा। इस बयान के बाद ही मऊ कोतवाली में सब इंस्पेक्टर गंगाराम बिंद ने एफआईआर दर्ज कराई थी। लगभग 3 साल चली सुनवाई के बाद आज इस मामले में फैसला आया है।

जमानत पर बाहर हैं अब्बास अंसारी

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मुख्तार अंसारी के बेटे मनी लॉन्ड्रिंग और गैंगस्टर एक्ट के तहत केस दर्ज किया था। इसी मामले में वे नवंबर 2022 से जेल में बंद थे। पिछले 2 महीने पहले ही अब्बास को जमानत मिली थी। अब्बास अंसारी पर आपराधिक गतिविधियों और अवैध वित्तीय लेन-देन में संलिप्त रहने के आरोप थे। शनिवार को कोर्ट से हेड स्पीच मामले में सजा सुनाए जाने के बाद ही उन्हें जमानत मिल गई।

साल 2022 के विधानसभा चुनाव में पिता मुख्तार अंसारी की जगह सुभासपा-सपा गठबंधन से अब्बास अंसारी ने सदर सीट से चुनाव लड़ा था। उस समय अब्बास ने 1 लाख 24 हजार 691 मत पाकर चुनाव जीता था, जबकि दूसरे नंबर पर बीजेपी प्रत्याशी अशोक सिंह को 86 हजार 116 मत मिले थे। अब्बास ने यह चुनाव 38 हजार 116 मतों से जीता था।

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