नई दिल्ली। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के मिशन गगनयान की तैयारियां जोरों पर है। ताजा कड़ी में इसरो (ISRO) ने गुरुवार को इसरो प्रणोदन अनुसंधान परिसर (IPRC), महेंद्रगिरि में गगनयान सर्विस मॉड्यूल प्रोपल्शन सिस्टम (SMPS) का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। एसएमपीएस ऑर्बिटल मॉड्यूल की आवश्यकताओं को पूरा करता है। हॉट टेस्ट एसएमपीएस के अंतिम कॉन्फिगरेशन में आयोजित किया गया। इसरो ने यह जानकारी एक ट्वीट के जरिये दी।
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ISRO successfully tested the Gaganyaan Service Module Propulsion System (SMPS) – which caters to the requirements of the Orbital Module – at IPRC, Mahendragiri.
The hot test was conducted in SMPS’s final configuration. https://t.co/yO0O1I77p2 pic.twitter.com/0Wn4KzGfTU
— ISRO (@isro) July 20, 2023
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गगनयान का सर्विस मॉड्यूल दो तरह के ईंधनों पर चलने वाला सिस्टम है। यह ऐसा सिस्टम है जो ऑर्बिटल मॉड्यूल यानी गगनयान के कैप्सूल को ऑर्बिट में ले जाने में मदद करेगा। धरती के चारों तरफ चक्कर लगाने में मदद करेगा। ऑर्बिट में चक्कर लगाते समय नियंत्रण करने में मदद करेगा। साथ ही डीबूस्टिंग यानी गति कम करेगा। अगर किसी तरह की समस्या आती है तो मिशन को अबॉर्ट किया जा सके।
440 न्यूटन की ताकत के जरिए ही प्रोपल्शन सिस्टम गगनयान कैप्सूल को ऊपर की तरफ ले जाएगा। जबकि RCS कैप्सूल को सही दिशा में ऊंचाई हासिल करने में मदद करेंगे। इस दौरान सर्विस मॉड्यूल प्रोपल्शन सिस्टम टैंक फीड सिस्टम, हीलियम प्रेशराइजेशन सिस्टम, फ्लाइट क्वालिफाइड थ्रस्टर्स और कंट्रोल कंपोनेंट्स की जांच की गई। ये टेस्ट दो अलग-अलग चरणों में किए गए। पहला चरण 250 सेकेंड का था। दूसरा 2750 सेकेंड्स का था।
इसरो के लिक्विड प्रोपल्शन सिस्टम्स सेंटर (LPSC) ने गगनयान के सर्विस मॉड्यूल प्रोपल्शन सिस्टम की डिजाइनिंग और डेवलपमेंट किया है। इस टेस्ट के बाद अब गगनयान के पूरे इंटीग्रेटेड मॉड्यूल का टेस्ट होगा। गगनयान के पांच टेस्ट और होने हैं. सामान्य और आसामान्य स्थितियों में। उनमें सफलता मिलने के बाद ही मिशन को आगे बढ़ाया जाएगा।