कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री के. सुधाकर अपने बयान के कारण चर्चा में बने हुए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य के सभी विधायकों का 'मोनोगैमी टेस्ट' कराया जाना चाहिए, ताकि यह जानकारी हो सके की इनके कितने लोगों के साथ अवैध संबंध हैं। स्वास्थ्य मंत्री के इस बयान के बाद राज्य का सियासी तापमन बढ़ गया और विपक्ष हमलाावर हो गई।
नई दिल्ली। कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री के. सुधाकर अपने बयान के कारण चर्चा में बने हुए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य के सभी विधायकों का ‘मोनोगैमी टेस्ट’ कराया जाना चाहिए, ताकि यह जानकारी हो सके की इनके कितने लोगों के साथ अवैध संबंध हैं। स्वास्थ्य मंत्री के इस बयान के बाद राज्य का सियासी तापमन बढ़ गया और विपक्ष हमलाावर हो गई।
विधानसभा में इस बयान पर हंगामे के बाद मंत्री ने सफाई दी। उन्होंने कहा कि मेरे बयान को गलत ढंग से पेश किया गया है। ऐसे में अगर कोई आहत हुआ है तो इसपर दुख जताते हैं।
स्वास्थ्य मंत्री सुधाकर ने बुधवार को पूर्व मंत्री रमेश जरकिहोली पर लगे आरोपों को लेकर कहा था, ‘कांग्रेस और जेडीएस के वह विपक्षी नेता जो खुद को मर्यादा पुरुषोत्तम और रामचंद्रदास के तौर पर पेश कर रहे हैं, मैं उन्हें एक चुनौती देता हूं। सभी 225 लोग एक जांच का सामना करें और पता चल जाएगा कि कौन एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर्स है और कौन नहीं। इस टेस्ट में मैं भी शामिल रहूंगा।’ वहीं, मंत्री के इस बयान के बाद वहां का राजनीतिक तापमान बढ़ गया है।