यूपी की एटा पुलिस की शर्मनाक हरकत के कारण विभाग को फिर से शर्मसार होना पड़ा। पुलिस की इस हरकत से यूपी पुलिस की चौतरफा आलोचना हो रही है। दरअसल, एटा में पुलिसकर्मियों ने एक ढाबा पर खाना खाया और रुपये मांगने पर उनकी पिटाई कर दी। विरोध पर फर्जी मुठभेड़ दिखाकर उन्हें जेल भेज दिया गया। जमानत पर छूटने के बाद कथित आरोपी ने मामले की शिकायत अधिकारियों से की, जिसके बाद पुलिसकर्मियों की साजिश का खुलासा हुआ है।
एटा। यूपी की एटा पुलिस की शर्मनाक हरकत के कारण विभाग को फिर से शर्मसार होना पड़ा। पुलिस की इस हरकत से यूपी पुलिस की चौतरफा आलोचना हो रही है। दरअसल, एटा में पुलिसकर्मियों ने एक ढाबा पर खाना खाया और रुपये मांगने पर उनकी पिटाई कर दी। विरोध पर फर्जी मुठभेड़ दिखाकर उन्हें जेल भेज दिया गया। जमानत पर छूटने के बाद कथित आरोपी ने मामले की शिकायत अधिकारियों से की, जिसके बाद पुलिसकर्मियों की साजिश का खुलासा हुआ है।
मामला एटा की देहात कोतवाली का है। बीती 4 फरवरी को कासगंज रोड स्थित ढाबा संचालक प्रवीण उसके भाई पुष्पेंद्र समेत 10 लोगों को पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार दिखाया था। इन लोगों को आर्म्स एक्ट, गांजा और अवैध शराब के कारोबार के आरोप में जेल भेज दिया गया था।
पुलिस ने दावा किया था कि कासगंज रोड पर जसराम गांव स्थित ढाबे में कुछ अपराधियों के होने की सूचना मिली थी। बताया गया कि ढाबे में मौजूद अपराधी किसी लूट को अंजाम देने की फिराक में हैं। शाम को पुलिस की टीम ढाबे पर भेजी गई, जहां से ढाबा संचालक प्रवीण, उसके भाई पुष्पेंद्र और वहां खाना खा रहे 8 अन्य लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया।
जमानत पर छूट कर के आये ढाबा संचालक प्रवीण ने अधिकारियों से बताया कि 4 फरवरी की दोपहर दो हेड कांस्टेबल उसके ढाबे पर खाना खाने के लिए बाइक से आए थे। 450 रुपए का बिल बना था, लेकिन उन्होंने 100 रुपए ही दिए। बाकी रुपए के भुगतान के लिए कहने पर दोनों हेड कांस्टेबल गाली गलौज करने लगे और धमकी देते हुए चले गए।
कुछ देर बाद पुलिस की तीन जीप से कई पुलिसवाले ढाबे पर आए और उन्हें पकड़कर थाने ले गए। जहां उन पर फर्जी मुकदमें लगा कर के जेल भेज दिया गया। मामले को गंभीरता से लेते हुए एसएसपी सुनील कुमार सिंह ने एएसपी राहुल कुमार को जांच सौंपी। एएसपी राहुल कुमार ने मामले की जांच की तो परत दर परत देहात कोतवाली पुलिस की साजिश का खुलासा होता गया। इस मामले में शामिल पुलिस वालो पर उचित कार्रवाई की जा रही है।