खुद को उत्तरप्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ का ओएसडी बताकर सैकड़ों अफसरों से पैसे एंठने वाले जालसाज को यूपी एसटीएफ ने झारखंड से धर दबोचा है। अरोपी अजय मिश्रा उर्फ अरविंद मिश्र के खिलाफ कई जिलों में पीड़ितों ने मुकदमा दर्ज कराया था। जांच में पता चला है कि एसटीएफ ने मूल रूप से अमेठी निवासी आरोपी को झारखंड के मूसाबनी के ठिकाने से दबोचा।
लखनऊ। खुद को उत्तरप्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ(Yogi Aadityanath) का ओएसडी बताकर सैकड़ों अफसरों से पैसे एंठने वाले जालसाज को यूपी एसटीएफ ने झारखंड से धर दबोचा है। अरोपी अजय मिश्रा उर्फ अरविंद मिश्र के खिलाफ कई जिलों में पीड़ितों ने मुकदमा दर्ज कराया था। जांच में पता चला है कि एसटीएफ ने मूल रूप से अमेठी निवासी आरोपी को झारखंड के मूसाबनी के ठिकाने से दबोचा।
एसटीएफ पूछताछ के लिए उसे लाई थी, आरोप साबित होने पर उसे गिरफ्तार कर लिया गया। आरोपी का दावा है कि वह अब तक 100 से अधिक अफसरों से वसूली कर चुका है। ऐसे ही आरोप में वह पहले जेल भी गया है। आरोपी के पास से ड्राइविंग लाइसेंस, तीन मोबाइल, आठ सिम कार्ड, उत्तर प्रदेश के सरकारी नंबरों की डायरेक्टरी भी मिली है। एसटीएफ के मुताबिक अरविंद(Arvind Mishra) ने सूचना विभाग से जारी होने वाली डायरी से अफसरों के नम्बर लिये थे।
इसके बाद ही वह इनके सीयूजी नंबर पर फोन करता था। फिर शिकायत मिलने की बात कहकर डराता था। एसटीएफ एएसपी(ASP Vishal Vikram Singh) विशाल विक्रम सिंह के मुताबिक अरविन्द मिश्रा के खिलाफ पिछले दिनों से कई शिकायतें मिली थी कि वह खुद को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का ओएसडी बताकर जिलों और तहसील में तैनात अफसरों को फोन करता है। उनको रौब दिखाते हुए कहता था कि कई तरह की शिकायतें मिली है। इस पर जांच के आदेश होने जा रहे हैं। इसके बाद ही एएसपी ने इंस्पेक्टर ज्ञानेंद्र राय को जांच में लगाया था।