फ्रेंच ओपन का महिला एकल फाइनल विश्व की 31वें नंबर की खिलाड़ी रूस की अनासतासिया पावलिउचेंकोवा और चेक गणराज्य की बारबोरा क्रेजकिकोवा के बीच शनिवार को रोलां गैरों के सेंटर कोर्ट पर खेला जाएगा।
पेरिस : फ्रेंच ओपन का महिला एकल फाइनल विश्व की 31वें नंबर की खिलाड़ी रूस की अनासतासिया पावलिउचेंकोवा और चेक गणराज्य की बारबोरा क्रेजकिकोवा के बीच शनिवार को रोलां गैरों के सेंटर कोर्ट पर खेला जाएगा। अनासतासिया ने जहां सेमीफाइनल में स्लोवेनिया की तमारा जिदांसेक को हराया वहीं बारबोरा ने मारिया साकारी को 7-5, 4-6, 9-7 से हराते हुए पहली बार किसी ग्रैंड स्लैम के फाइनल मे जगह बनाई। बारबोरा ने फाइनल में जगह बनाने के लिए तीन घंटे 18 मिनट तक चले मैराथन मुकाबले की बाधा को पार किया जबकि अनासतासिया ने विश्व रैंकिंग की 85वें नंबर की खिलाड़ी तमारा को एक घंटे 34 मिनट में हीं लगातार सेटों में 7-5, 6-3 से हराकर खिताबी मुकाबले में जगह बनाई।
29 वर्षीय अनासतासिया पहली महिला खिलाड़ी बन गई हैं जिन्होंने 50 से ज्यादा बड़े टूर्नामेंट खेले हैं। उन्होंने 15 साल की उम्र में 2007 विंबलडन में वाइल्डकार्ड के तौर पर प्रवेश कर ग्रैंड स्लैम में डेब्यू किया था। यह 52वीं बार था जब अनासतासिया ने किसी ग्रैंड स्लैम टूर्नामेंट के मुख्य ड्रॉ में जगह बनाई थी। अनासतासिया इसके साथ ही रूस की पहली महिला खिलाड़ी हैं जिन्होंने 2015 के बाद ग्रैंड स्लैम के फाइनल में जगह बनाई है। उनसे पहले रूस की मारिया शारापोवा ने ऑस्ट्रेलियन ओपन के फाइनल में जगह बनाई थी जहां उन्हें अमेरिका की सेरेना विलियम्स के हाथों हार का सामना करना पड़ा था।
सेमीफाइनल मुकाबले में जीत के साथ ही अनासतासिया अपने करियर में 21वीं बार किसी टूर्नामेंट के फाइनल में पहुंची है। उन्होंने इससे पहले 2019 में मॉस्को में फाइनल में जगह बनाई थी। अगर अनासतासिया फ्रेंच ओपन का खिताब जीतने में सफल रहती हैं तो यह उनका 2018 में स्ट्रासबोर्ग टूर्नामेंट जीतने के बाद पहला खिताब होगा उन्होंने अपने करियर में अबतक 12 खिताब जीते हैं। इस महामुकाबले पर अब सभी की नजरें टिकी हुई हैं।