HBE Ads
  1. हिन्दी समाचार
  2. उत्तर प्रदेश
  3. Lakhimpur Kheri Violence : केशव प्रसाद मौर्य बोले- पद या दबाव नहीं आएगा काम, दोषियों को किसी भी कीमत पर नहीं बख्शा जाएगा

Lakhimpur Kheri Violence : केशव प्रसाद मौर्य बोले- पद या दबाव नहीं आएगा काम, दोषियों को किसी भी कीमत पर नहीं बख्शा जाएगा

Lakhimpur Kheri Violence : यूपी उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya) ने कहा कि, लखीमपुर की घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि इस मामले में जांच चल रही है। केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya)  ने भरोसा लिाया कि दोषियों को किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि  हम प्रदेश के लोगों को भरोसा दिलाते हैं कि आरोपी के लिए कोई पद या दबाव काम नहीं कर पाएगा।

By संतोष सिंह 
Updated Date

लखनऊ। Lakhimpur Kheri Violence : यूपी उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya) ने कहा कि, लखीमपुर की घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि इस मामले में जांच चल रही है। केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya)  ने भरोसा लिाया कि दोषियों को किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि  हम प्रदेश के लोगों को भरोसा दिलाते हैं कि आरोपी के लिए कोई पद या दबाव काम नहीं कर पाएगा।

पढ़ें :- झांसी में दर्दनाक हादसा: मेडिकल कॉलेज के शिशु वार्ड में आग लगने से 10 बच्चों की मौत

लखीमुपर हिंसा मामले में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने शुक्रवार को  मुख्य न्यायाधीश एनवी रमन्ना (Chief Justice NV Ramanna) यूपी पुलिस (UP Police) कार्रवाई में शिथिलता बरतने के चलते योगी सरकार (Yogi Government)  को बड़ी फटकार लगाई है। उन्होंने राज्य सरकार को फटकार लगाते हुए सवाल किया है कि क्या हत्या के आरोपियों को यूपी पुलिस (UP Police) नोटिस भेजकर पूछताछ के लिए बुलाती है? सीजेआई (CJI )ने पूछा है कि अब तक हत्यारोपित को हिरासत में किस आधार पर नहीं लिया गया? अब मामले की अगली सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में होगी।

कोर्ट के सवालों का जवाब देते हुए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार (Yogi Government) की तरफ से पेश हुए वकील हरीश साल्वे(Advocate Harish Salve)  ने कहा कि किसानों की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में गोली के घाव नहीं दिखे, इसलिए उन्हें नोटिस भेजा गया था। उन्होंने बताया कि घटनास्थल से दो कारतूस बरामद हुए हैं। इससे लगता है कि आरोपी का निशाना कुछ और था।

सुप्रीम कोर्ट ने पूछा आरोपियों के साथ होगा ऐसा व्यवहार?

आशीष मिश्र को नोटिस भेजे जाने के मामले में कोर्ट ने टिप्पणी की कि जिस व्यक्ति पर मौत या गोली से घायल करने का आरोप है, उसके साथ इस देश में इस तरह का व्यवहार किया जाएगा? इस पर वकील हरीश साल्वे ने कहा कि अगर व्यक्ति नोटिस के बाद नहीं आता है तो कानूनी सख्ती का सहारा लिया जाता है।

पढ़ें :- IND vs SA 4th T20I: भारत ने टॉस जीतकर किया बल्लेबाजी का फैसला; देखें प्लेइंग इलेवन

योगी सरकार की कार्रवाई से संतुष्ट नहीं सुप्रीम कोर्ट

सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट यूपी की योगी सरकार की ओर से की गई कार्रवाई से संतुष्ट नहीं दिखी। कोर्ट ने कहा कि आठ लोगों की बेरहमी से हत्या कर दी गई, इस मामले में सभी आरोपियों के लिए कानून एक समान है। कोर्ट ने कहा कि हमें उम्मीद है कि राज्य सरकार इस गंभीर मामले में जरूरी कदम उठाएगी।

कोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिया कि इस मामले की जांच एक वैकल्पिक एजेंसी से कराई जाए

कोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिया कि इस मामले की जांच एक वैकल्पिक एजेंसी से कराई जाए और इसकी जानकारी कोर्ट को दी जाए। कोर्ट ने कहा कि जब तक कोई वैकल्पिक एजेंसी इस मामले की जांच शुरू नहीं कर देती तब तक राज्य के डीजीपी की जिम्मेदारी होगी कि घटना से जुड़े सभी सबूतों को सुरक्षित रखा जाए।

पढ़ें :- 555वें प्रकाश पर्व पर श्री ननकाना साहिब जा रहे हिंदू श्रद्धालु की हत्या, लूटे साढ़े चार लाख रुपए
Hindi News से जुड़े अन्य अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें फेसबुक, यूट्यूब और ट्विटर पर फॉलो करे...