मीडिया से बातचीत के दौरान वो फूट-फूटकर रोने भी लगे। यही नहीं उन्होंने आरोप लगाया कि 50 से ज्यादा लोगों ने उन पर हमला किया और उन्हें मुक्का मारा, लात मारी। इसके साथ ही आरोप लगाया कि, राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष ने उन्हें बोलने की अनुमति भी नहीं दी। मेरे खिलाफ आरोप लगाए गए कि मैं बीजेपी के साथ हूं। मैं जानना चाहता हूं कि मेरी गलती क्या है?
Rajasthan News: राजस्थान की गहलोत सरकार (Gehlot government) के मंत्री रहे राजेंद्र सिंह गुढ़ा (Rajendra Singh Gudha) ने सोमवार को बड़ा आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि, उन्हें सदन में बोलने की अनुमति नहीं दी गई और कांग्रेस के मंत्रियों ने उन्हें घसीट कर सदन से बाहर निकाल दिया। मीडिया से बातचीत के दौरान वो फूट-फूटकर रोने भी लगे। यही नहीं उन्होंने आरोप लगाया कि 50 से ज्यादा लोगों ने उन पर हमला किया और उन्हें मुक्का मारा, लात मारी। इसके साथ ही आरोप लगाया कि, राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष ने उन्हें बोलने की अनुमति भी नहीं दी। मेरे खिलाफ आरोप लगाए गए कि मैं बीजेपी के साथ हूं। मैं जानना चाहता हूं कि मेरी गलती क्या है?
बता दें कि, शून्यकाल के दोरान सदन में उस दौरान हंगामा हुआ जब राजेंद्र सिंह गुढ़ा (Rajendra Singh Gudha) ‘लाल डायरी’ लेकर स्पीकर सीपी जोशी की कुर्सी के पास पहुंचे और उनसे बहस करने लगे। जैसे ही गुढ़ा ने लाल रंग की डायरी लहराई, स्पीकर ने उन्हें अपने कक्ष में आने के लिए कहा। कुछ देर बाद गुढ़ा संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल के पास पहुंचे और उनसे भिड़ गए। सदन में बीजेपी विधायकों ने भी ‘लाल डायरी’ के मुद्दे पर हंगामा किया और सदन के वेल में पहुंच गये। हंगामा बढ़ने के बाद स्पीकर ने सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी। उल्लेखनीय है कि सदन शुरू होने से पहले गुढ़ा ने संवाददाताओं से कहा था कि वह आज विधानसभा में लाल डायरी के बारे में खुलासा करेंगे।’
गहलोत सरकार ने मंत्री पद से किया बर्खास्त
बता दें कि, सैनिक कल्याण (स्वतंत्र प्रभार), होम गार्ड और नागरिक सुरक्षा, पंचायती राज और ग्रामीण विकास राज्य मंत्री के रूप में कार्यभार संभालने वाले राजेंद्र गुढ़ा पहले सीएम अशोक गहलोत के करीबी माने जाते थे। वह झुंझुनूं के उदयपुरवाटी से बसपा के टिकट पर विधायक बने। शुक्रवार को अपने ही सरकार को घेरने के बाद सीएम अशोक गहलोत की सिफारिश पर उन्हें मंत्री पद से बर्खास्त कर दिया गया।