कई बार लोग कार (Car) खरीदने जाते हैं तो आमतौर पर फीचर्स (Features), इंटीरियर (Interior) और पेंट (Paint) का देखते थे। लेकिन इस चक्कर में वह सबसे जरूरी दो बातें भूल जाते हैं, जो कार के लिए बेहद अहम है। दरअसल, कार खरीदते समय हमेशा सेफ्टी रेटिंग और एयरबैग्स के बारे में जरूर जान लेना चाहिए।
लखनऊ। कई बार लोग कार (Car) खरीदने जाते हैं तो आमतौर पर फीचर्स (Features), इंटीरियर (Interior) और पेंट (Paint) का देखते थे। लेकिन इस चक्कर में वह सबसे जरूरी दो बातें भूल जाते हैं, जो कार के लिए बेहद अहम है। दरअसल, कार खरीदते समय हमेशा सेफ्टी रेटिंग और एयरबैग्स के बारे में जरूर जान लेना चाहिए। एक रिपोर्ट के मुताबिक कार खरीदने वाले लोग सबसे पहले सेफ्टी रेटिंग (Safety Rating) और एयरबैग्स (Airbags) के बारे में जानते हैं।
कार खरीदते समय शीर्ष प्राथमिकताओं पर एक सर्वे में पता चला है कि कार ग्राहक की पहली प्राथमिकता सेफ्टी (Safety) है। सर्वे में पता चलता है कि 5 स्टार क्रैश टेस्ट रेटिंग (5 Star Crash Test Rating) और एयरबैग (Airbags) की संख्या ग्राहकों के कार खरीदने के फैसले को अधिक प्रभावित करते हैं। दरअसल, सड़क दुर्घटनाओं में बढ़ोतरी के कारण सरकार भी काफी सतर्क है और कड़े नियम भी निकाले जा रहे हैं। वाहन कंपनियों पर भी सेफ्टी को लेकर प्रेशर बढ़ रहा है। इसके अलावा अब लोग भी अपने परिवार की सुरक्षा के लिए सेफ्टी फीचर्स (Safety Features) से लैस कारों को ही सेलेक्ट कर रहे हैं।
इस टेस्ट के लिए कार में आगे और बैक सीट पर डमी का इस्तेमाल किया जाता है। टेस्ट में बच्चे की डमी को बैठाकर के चाइल्ड सेफ्टी सीट पर फिक्स की जाती है। इसमें ये देखा जाता है कि क्रैश टेस्ट के बाद कार के एयरबैग ने काम किया कि नहीं ? डमी कितनी डैमेज हुई है ? कार के सेफ्टी फीचर ने कितना काम किया ? इन सब के आधार पर कार को रेटिंग दी जाती है।