लखीमपुर खीरी हिंसा (Lakhimpur Kheri violence) के बाद सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने सोमवार को सुनवाई करते हुए किसान आंदोलन मामले को लेकर सख्त रुख अपनाया है। दिल्ली-नोएडा मार्ग (Delhi-Noida route) पर रास्ता ब्लॉक किए जाने को लेकर डाली गई जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा कि जब हमने तीन कृषि कानूनों पर फिलहाल रोक लगा रखी है, तो फिर सड़कों पर प्रदर्शन क्यों हो रहे हैं? इस मामले में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने 43 किसान संगठनों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
नई दिल्ली। लखीमपुर खीरी हिंसा (Lakhimpur Kheri violence) के बाद सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने सोमवार को सुनवाई करते हुए किसान आंदोलन मामले को लेकर सख्त रुख अपनाया है। दिल्ली-नोएडा मार्ग (Delhi-Noida route) पर रास्ता ब्लॉक किए जाने को लेकर डाली गई जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा कि जब हमने तीन कृषि कानूनों पर फिलहाल रोक लगा रखी है, तो फिर सड़कों पर प्रदर्शन क्यों हो रहे हैं? इस मामले में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने 43 किसान संगठनों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
बता दें कि नोएडा निवासी मोनिका अग्रवाल ने किसान आंदोलन (Farmer Organizations) के चलते दिल्ली- नोएडा यातायात (Delhi-Noida Traffic) बाधित रहने का मसला उठाया था। किसान आंदोलन (Farmers Movement) के चलते बाधित दिल्ली की सड़कों को खोलने की मांग को कोर्ट में उठाया। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने 43 किसान संगठनों को नोटिस जारी किया है। इस मामले में 20 अक्टूबर को अगली सुनवाई होगी।
बता दें कि इसी मसले को लेकर हरियाणा सरकार (Haryana Government) ने अंतरिम अर्जी दाखिल कर 43 किसान संगठनों को पक्षकार बनाने के लिए अर्जी दाखिल की थी। हरियाणा सरकार (Haryana Government) की अर्जी पर कोर्ट ने नोटिस जारी किया है।