नई दिल्ली: राम गोपाल वर्मा अपनी नई कंट्रोवर्सी को लेकर फिर एक बार चर्चा में हैं। इस बार उन्हें पूरी तरह से बैन कर दिया गया है। फेडरेशन ऑफ वेस्टर्न इंडिया सिने एम्प्लॉयज ने ये आरोप लगाया है कि राम गोपाल वर्मा ने फिल्म इंडस्ट्रीज से जुड़े कई कलाकारों, टेक्नीशियनों और वर्करों का तकरीबन सवा करोड़ पैसा नहीं दिया है।
फेडरेशन की तरफ से 17 सितंबर 2020 को पत्र लिखकर उन टेक्नीशियनों की पूरी सूचि और बकाया राशि का विवरण उन्हें दिया गया था। सामने से कोई जवाब नहीं आने पर सिने मजदूरों के महासंघ फेडरेशन ऑफ वेस्टर्न इंडिया सिने एम्प्लॉयज ने एक फरमान जारी किया है।
इसमें साफ शब्दों में कहा गया है कि फेडरेशन के सदस्य कर्मचारी फिल्मकार रामगोपाल वर्मा के किसी भी प्रोजेक्ट में काम नहीं करेंगे। फेडरेशन इस मामले को लेकर राम गोपाल वर्मा को कई दफा खत भी लिख चुका है।
फेडरेशन ने एक बड़ी बैठक में ये फैसला किया है कि निर्माता-निर्देशक राम गोपाल वर्मा के साथ फेडरेशन की 32 यूनियनों में से किसी भी यूनियन का कोई भी सदस्य देश में कहींं भी वे शूटिंग करें, उनके साथ भविष्य में काम नहीं करेगा।
फेडरेशन के प्रेसिडेंट बीएन तिवारी, जनरल सेक्रेटरी अशोक दुबे ने इस संंबंध में जानकारी दी है कि इस संबंध में पहले से राम गोपाल वर्मा को लीगल नोटिस भेजा जा चुका है। इसके बाद भी राम गोपाल वर्मा ने ना तो हमारे नोटिस का सही जवाब दिया और नहीं बकाया पैसा दिया है।