यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के नाम से 'योगी' शब्द हटाये जाने की मांग को लेकर के एक व्यक्ति के द्वारा इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका डाली गई थी। कोर्ट ने इस मामले को संज्ञान में लेकर के इस अर्जी को खारिज कर दिया है। इसके साथ ही कोर्ट ने याचिकाकर्ता के ऊपर एक लाख रुपये का हर्जाना भी लगाया है।
प्रयागराज। यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के नाम से ‘योगी’ शब्द हटाये जाने की मांग को लेकर के एक व्यक्ति के द्वारा इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका डाली गई थी। कोर्ट ने इस मामले को संज्ञान में लेकर के इस अर्जी को खारिज कर दिया है। इसके साथ ही कोर्ट ने याचिकाकर्ता के ऊपर एक लाख रुपये का हर्जाना भी लगाया है। कोर्ट ने याचिका को समय की बर्बादी बताया है। याचि को ये राशि छ: सप्ताह के अंदर ही जमा करनी होगी।
यह आदेश मुख्य न्यायमूर्ति राजेश बिंदल एवं न्यायमूर्ति पीयूष अग्रवाल की खंडपीठ ने दिया है। बता दें कि इस राशि का अपयोग समाजिक कार्य के लिए किया जायेगा। हर्जाने की राशि विकलांग केंद्र को दी जाएगी। याचिका में कहा गया था कि योगी आदित्यनाथ अलग-अलग नामों से लोकसभा तथा विधानसभा चुनाव में नामांकन करते और शपथ लेते आए हैं।
जबकि उन्हें सिर्फ अपने आधिकारिक नाम से ही चुनाव लड़ना चाहिए और उसी नाम से शपथ लेनी चाहिए। याचिका के अनुसार योगी आदित्यनाथ ने 2004, 2009, 2014 के चुनाव में आदित्यनाथ के नाम से शपथ ली। उसके बाद उन्होंने अपने नाम के आगे योगी जोड़ दिया।