सनातन धर्म के ऋषियों, मुनियों ने प्रकृति के अमृत तत्वों का अन्वेषण करने के महत्व के बारे में बताया है। रात दिन के क्रम में प्रकृति किस समय सर्वाधिक अपनी ऊर्जा बिखेरता है इस बारे में बताया है।
Brahma Muhurta : सनातन धर्म के ऋषियों, मुनियों ने प्रकृति के अमृत तत्वों का अन्वेषण करने के महत्व के बारे में बताया है। रात दिन के क्रम में प्रकृति किस समय सर्वाधिक अपनी ऊर्जा बिखेरता है इस बारे में बताया है। ऋषियों, मुनियों ने तो यहां तक बताया है कि प्रकृति के साथ जीवन और जीव का साहचर्य ऐसा हो कि जीव को आरोग्य और अपनी भरपूर क्षमता का प्रयोग करने का अवसर प्राप्त हो। यह सब बाते सुनने में बहुत चमत्कारी लगती है। इसी तरह वैदिक ग्रंथों में ब्रह्म मुहूर्त के महत्व को भी बताया गया है। पौराणिक ग्रंथों में इस बात का जिक्र किया गया है कि ब्रह्म मुहूर्त में किए जाने वाले कार्य में उसके चरम तक की सफलता प्राप्त होती है। मनोनुकूल सफलता की प्राप्ति है। आइये जानते है ब्रह्म मुहूर्त के चमत्कारी लाभ के बारे में।
1.तन को मजबूत बनाने और मन की शुद्धि के लिए ब्रह्म मुहूर्त में उठने से आश्चर्यजनक लाभ प्राप्त होते है। यह समय ध्यान करने और मन को स्थिर करने के लिए उत्तम माना जाता है, जिससे चिंताएं और तनाव कम होते हैं।
2.ब्रह्म मुहूर्त को जीवन का सर्वोत्तम समय माना जाता है। जिसमें वात दोष (आयुर्वेद में एक प्रकार का दोष) का प्रकोप नहीं होता है। इस समय में उठकर व्यक्ति के शरीर में ऊर्जा का संचय होता है और शरीर स्वस्थ रहता है।
3.सफलता के लिए उत्तम समय: ब्रह्म मुहूर्त को उत्तम समय माना जाता है नए कार्यों या परियोजनाओं की शुरुआत करने के लिए। इस समय में व्यक्ति का मन ताजगी भरा होता है और विचार शक्ति उच्च होती है, जिससे कार्य करने में सफलता मिलती है।
4. यह समय मुख्य रूप से वैदिक ज्योतिष और आयुर्वेद में महत्वपूर्ण माना जाता है और इसे ध्यान और आत्म विकास के लिए अच्छा माना जाता है।
5.ब्रह्म मुहूर्त का अत्यन्त शुभ समय वो होता है जो रात्रि प्रहर के बाद और सूर्योदय के बीच होता है। यानी 4 बजे से लेकर 5 बजकर 30 मिनट तक का समय इस मुहूर्त में आता है। इस मुहूर्त में व्यक्ति कुछ विशेष कार्यों को कर जीवन की काया पलट सकता है।